मुंबई / 3 एनसीपी विधायकों का दावा, धोखे से शपथ ग्रहण के लिए ले जाया गया था राजभवन

Naee Duniya : Nov 23, 2019, 05:12 PM
महाराष्ट्र में राजनीति में शनिवार सुबह बड़ा मोड़ आ गया। अब तक शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस मिलकर सरकार बनाने की कवायद में लगे थे, तभी भाजपा ने शरद पवार के भतीजे अजित पवार के साथ मिलकर सरकार बना ली। शनिवार सुबह 8 बजे ही राज्यपाल ने देवेंद्र फडणवीस को मुख्यमंत्री पद की शपथ दिला दी। एनसीपी के अजीत पवार ने उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। अब देवेंद्र फडणवीस सरकार को 30 नवंबर तक बहुमत साबित करना है। महाराष्ट्र में विधानसभा की कुल 288 सीटें हैं और बहुमत साबित करने के लिए 145 विधायकों का समर्थन जरूरी है।

देवेंद्र फडणवीस मुंबई में भाजपा दफ्तर पहुंचे हैं। उन्होंने वहां कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि मोदी हैं तो मुमकिन हैं। फडणवीस ने आज ही सीएम पद की शपथ ली है। उन्होंने कहा हम प्रदेश में मजबूत और स्थाई सरकार देंगे जो 5 साल तक चलेगी।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक महाराष्ट्र में जारी सियासी घमासान के बीच अजीत पवार के समर्थक विधायकों को चार्टर्ड प्लेन से दिल्ली भेजे जाने की बात सामने आ रही है।

अहमद पटेल ने कहा कि हमारे सारे विधायक हमारे साथ हैं। हम सभी मजबूती से खड़े हैं। पटेल ने कहा कि राज्य में शिवसेना, एनसीपी, कांग्रेस गठबंधन की सरकार ही बनेगी।

पीसी के दौरान शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने कहा कि भाजपा सदन में बहुमत साबित नहीं कर सकेगी। लोकतंत्र के नाम पर खेल खेला जा रहा है। शिवसेना जो करती है वो खुलेआम करती है। हमने जनादेश का आदर किया है। भाजपा पर हमला करते हुए उद्धव ने कहा कि वह तोड़ती है और हम जोड़ते हैं।

प्रेस कांफ्रेस के दौरान एनसीपी विधायक एकनाथ शिंरके, राजेंद्र सिंगले और संदीप क्षीरसागर ने बताया कि अजीत पवार उन्हें धोखे से राजभवन ले गए थे। पीसी के दौरान उन्होंने कहा कि हम लोग शरद पवार के साथ हैं।

शरद पवार ने दावा किया कि कुछ विधायकों ने उन्हें कहा कि उन्हें वहां ले जाया गया। साथ ही उन्होंंने शपथ ग्रहण पर हैरानी भी जताई। उन्होंने कहा कि हम बीजेपी के सख्त खिलाफ हैं। अजीत पवार को लेकर उन्होंने कहा कि हमें जो एक्शन लेना होगा उसे लेंगे।

शरद पवार ने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कहा कि तीन राजनीतिक दलों ने मिलकर सरकार बनाने का निर्णय लिया था। आज अजीत पवार के नेतृत्व में कुछ विधायक राजभवन पहुंचे और उन्होंने उप मुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली। पवार ने दावा किया कि तीनों दलों के 156 विधायक साथ हैं।

भाजपा और एनसीपी नेता अजीत पवार द्वारा राज्य में सरकार बनाए जाने के बाद सियासी हलचल तेज हो गई है। शिवसेना, एनसीपी फिलहाल संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस ले रही है। कांग्रेस इसमें शामिल नहीं है।

भाजपा के पास अपने 105 विधायक हैं। वहीं कहा जा रहा है कि अजित पवार के पास एनसीपी के 30 विधायक आ रहे हैं। इसके अलावा 14 निर्दलीय विधायक अपना समर्थन भाजपा को दे चुके हैं। इस तरह यह आंकड़ा 149 होता है। वैसे भाजपा नेताओं का दावा है कि उनके पास कुल 170 विधायकों का समर्थन है।

शपथ लेने के बाद अजीत पवार ने कहा कि शिवसेना रोज नई-नई शर्त लेकर आ रहे थे, जबकि हम स्थायी सरकार चाहते थे, इसलिए भाजपा के साथ जाकर सरकार बनाने का फैसला किया।

इसके बाद देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि भाजपा और एनसीपी मिलकर महाराष्ट्र को स्थायी सरकार देंगे। उन्होंने मीडिया से चर्चा में शरद पवार का नाम नहीं लिया, लेकिन अजीत पवार को दो बार 'अजीत दादा पवार' कहा।

इससे पहले शुक्रवार को शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस की बैठक के बाद जैसे ही शरद पवार ने कहा कि सरकार बनाने को लेकर सहमति बन गई है और उद्धव ठाकरे के नेतृत्व पर भी एकराय हैं तो तस्वीर लगभग साफ हो गई थी। देर रात यह भी स्पष्ट हो गया था कि उद्धव ठाकरे सीएम बनने को राजी हो गए हैं। कहा जा रहा था कि शनिवार को उद्धव समर्थन की चिट्ठी लेकर राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से मुलाकात कर सकते हैं।

इस बीच, राउत ने शनिवार सुबह ट्वीट कर एक बार फिर विरोधियों पर तंज करने की कोशिश की। उन्होंने लिखा, जिस-जिस पर जग हंसा, उसी ने इतिहास रचा। वहीं एनसीपी नेता नवाब मलिक ने कहा है कि सभी खुश हैं कि उद्धव ठाकरे सीएम पद के लिए तैयार हो गए हैं।

SUBSCRIBE TO OUR NEWSLETTER