राजस्थान का सियासी घमासान / BJP के 40 विधायकों से अशोक गहलोत कैंप ने साधा संपर्क, अब आगे क्‍या होगा

News18 : Aug 10, 2020, 09:15 AM
जयपुर। राजस्‍थान के सियासी संग्राम में अब बीजेपी (BJP) को भी डर सताने लगा है। बीजेपी को डर है कि सीएम अशोक गहलोत (CM Ashok Gehlot) उसके विधायकों को प्रभावित कर सकते हैं। लिहाजा विपक्षी पार्टी ने भी अपने विधायकों की बाड़ाबंदी करनी शुरू कर दी है। सूत्रों का कहना है कि गहलोत ने अपनी जादूगरी दिखाते हुए बीजेपी के विधायकों से संपर्क साधा है। पहले जो बीजेपी कांग्रेस पर बाड़ाबंदी का आरोप लगा रही थी अब उसी ने ही यू टर्न ले लिया है। इससे राजनीतिक सरगर्मियां और तेज हो गई हैं।

राजस्थान में विधायकों की खरीद-फरोख्त के डर से बीजेपी ने अपने विधायकों को गुजरात भेजना शुरू कर दिया है। गुजरात के पोरबंदर में बीजेपी विधायकों की बाड़ेबंदी की जा रही है। बाड़ेबंदी में सभी विधायकों को नहीं भेजा जा रहा है। दक्षिण राजस्थान के आदिवासी बहुल इलाके के विधायकों और गुजरात सीमा से सटे जालोर-सिरोही जिले के बीजेपी विधायकों को गुजरात भेजा गया है। इसके अलावा जयपुर से विशेष चार्टर विमान में 6 विधायक ऐसे भेजे गए, जिनसे गहलोत कैंप ने संपर्क करने की कोशिश की है। अभी तक 23 विधायक इधर से उधर भेजे गये हैं। इनमें से 18 को पोरबंदर भेजा गया है।

गहलोत सरकार पर लगाया आरोप

बीजेपी सूत्रों के मुताबिक, 40 ऐसे विधायक है जिनको गहलोत कैंप ने अपने पाले में लेने की कोशिश की। राजस्थान बीजेपी के अध्यक्ष सतीश पूनिया ने आरोप लगाया कि गहलोत सरकार अपने प्रभाव का इस्तेमाल कर रही है। कई विधायकों को परेशान किया जा रहा है। उन्हें मुकदमों में फंसाने की धमकी दी जा रही है। खरीद फरोख्त की कोशिश की जा रही है। ऐसे में विधायकों की सुरक्षा के लिए ये कदम उठाया गया है। पूनिया ने कहा कि 45 विधायकों से उन्होंने बात की है और समय आने पर इसका खुलासा भी करेंगे।


11 अगस्त को राजस्थान हाईकोर्ट को तय करना

दरअसल, बीएसपी के 6 विधायकों के कांग्रेस में विलय के स्पीकर के फैसले पर 11 अगस्त को राजस्थान हाईकोर्ट को तय करना है कि विलय सही है या नहीं। हाईकोर्ट अगर विलय पर स्टे देता है तो गहलोत सरकार के सामने अल्पमत में आने का खतरा बढ़ जाता है। बीजेपी को डर है कि ऐसे में 14 अगस्त को विधानसभा सत्र से पहले कांग्रेस बीजेपी विधायकों की खरीद फरोख्त कर सकती है। बीजेपी 11 अगस्त से जयपुर में सभी विधायकों की बाड़ेबंदी की भी तैयारी कर रही है।


इनपुट के बाद चौकन्नी हुई बीजेपी

पोरबंदर भेजे गये विधायकों को भी 11 अगस्त को जयपुर लाया जा सकता है। बीजेपी के डर की दूसरी वजह है वसुंधरा राजे गुट। सूत्रों का दावा है कि गहलोत सरकार ने वसुंधरा राजे समर्थक विधायकों से ही संपर्क किया है। इसके पीछे कांग्रेस की उम्मीद यह है कि वसुंधरा राजे फिलहाल नाराज हैं। ऐसे में राजे समर्थक विधायक पाला बदल सकते हैं। संगठन की टीम और खुफिया एजेंसियों से इनपुट के बाद बीजेपी चौकन्नी हो गई है कि कहीं गहलोत बीजेपी में सेंध लगाकर सरकार सुरक्षित न कर ले।


ये है राजे की ताकत

वर्तमान में विधानसभा में बीजेपी के 72 विधायक हैं। इनमें से 41 विधायक ऐसे हैं, जिन्हें राजे का समर्थक माना जाता है। इन 41 विधायकों को विधानसभा चुनाव में टिकट वसुंधरा राजे ने ही दिया था। इनमें 41 में से भी 30 विधायक राजे के नजदीकी माने जाते हैं। इनमें से भी 12 विधायक ऐसे हैं जिन्हें राजे का कट्टर समर्थक माना जाता है। बीजेपी की नजर इन 12 विधायकों पर खास तौर पर है।

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