AajTak : Apr 15, 2020, 09:39 AM
भारत के चमगादड़ों की दो प्रजाति में COVID-19 से अलग बैट कोरोना वायरस (BtCoV) पाए गए हैं। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के रिसर्चर्स की स्टडी में ये खुलासा हुआ है।
केरल, हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी, तमिलनाडु के 25 चमगादड़ों में BtCoV पाए गए। ये चमगादड़ Rousettus और Pteropus प्रजाति के हैं। चमगादड़ों में बैट कोरोना वायरस मिलने की खबर देने वाली स्टडी को इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल रिसर्च में प्रकाशित किया गया है।
पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) के साइंटिस्ट डॉ। प्रज्ञा डी यादव ने कहा कि इस बात को साबित करने के लिए कोई सबूत या रिसर्च नहीं हैं कि बैट कोरोना वायरस इंसानों में बीमारी पैदा कर सकते हैं।रिसर्च पेपर लिखने वाली डॉ। प्रज्ञा ने कहा कि बैट कोरोना वायरस का COVID-19 से कोई संबंध नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि चमगादड़ में इससे पहले निपाह वायरस भी मिले थे।
चमगादड़ में नेचुरल तौर पर कई वायरस मौजूद होते हैं। इनमें से कई इंसानों के लिए घातक होते हैं, लेकिन इनसे चमगादड़ों को नुकसान नहीं होता। वहीं, ऐसा समझा जाता है कि चीन के वुहान में चमगादड़ से ही COVID-19 वायरस इंसानों में फैला। स्टडी में साइंटिस्ट् ने लिखा कि अब भी यह साफ नहीं हो पाया है कि क्यों कुछ कोरोना वायरस ही इंसानों को संक्रमित करते हैं। स्टडी में इस बात की भी सिफारिश की गई है कि चमगादड़ से इंसानों के संक्रमण के खतरे पर लगातार निगरानी रखी जानी चाहिए।
भारत के चमगादड़ों की दो प्रजाति में COVID-19 से अलग बैट कोरोना वायरस (BtCoV) पाए गए हैं। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के रिसर्चर्स की स्टडी में ये खुलासा हुआ है।केरल, हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी, तमिलनाडु के 25 चमगादड़ों में BtCoV पाए गए। ये चमगादड़ Rousettus और Pteropus प्रजाति के हैं। चमगादड़ों में बैट कोरोना वायरस मिलने की खबर देने वाली स्टडी को इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल रिसर्च में प्रकाशित किया गया है।पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) के साइंटिस्ट डॉ। प्रज्ञा डी यादव ने कहा कि इस बात को साबित करने के लिए कोई सबूत या रिसर्च नहीं हैं कि बैट कोरोना वायरस इंसानों में बीमारी पैदा कर सकते हैं।
रिसर्च पेपर लिखने वाली डॉ। प्रज्ञा ने कहा कि बैट कोरोना वायरस का COVID-19 से कोई संबंध नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि चमगादड़ में इससे पहले निपाह वायरस भी मिले थे।चमगादड़ में नेचुरल तौर पर कई वायरस मौजूद होते हैं। इनमें से कई इंसानों के लिए घातक होते हैं, लेकिन इनसे चमगादड़ों को नुकसान नहीं होता। वहीं, ऐसा समझा जाता है कि चीन के वुहान में चमगादड़ से ही COVID-19 वायरस इंसानों में फैला।स्टडी में साइंटिस्ट् ने लिखा कि अब भी यह साफ नहीं हो पाया है कि क्यों कुछ कोरोना वायरस ही इंसानों को संक्रमित करते हैं। स्टडी में इस बात की भी सिफारिश की गई है कि चमगादड़ से इंसानों के संक्रमण के खतरे पर लगातार निगरानी रखी जानी चाहिए।
केरल, हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी, तमिलनाडु के 25 चमगादड़ों में BtCoV पाए गए। ये चमगादड़ Rousettus और Pteropus प्रजाति के हैं। चमगादड़ों में बैट कोरोना वायरस मिलने की खबर देने वाली स्टडी को इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल रिसर्च में प्रकाशित किया गया है।
पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) के साइंटिस्ट डॉ। प्रज्ञा डी यादव ने कहा कि इस बात को साबित करने के लिए कोई सबूत या रिसर्च नहीं हैं कि बैट कोरोना वायरस इंसानों में बीमारी पैदा कर सकते हैं।रिसर्च पेपर लिखने वाली डॉ। प्रज्ञा ने कहा कि बैट कोरोना वायरस का COVID-19 से कोई संबंध नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि चमगादड़ में इससे पहले निपाह वायरस भी मिले थे।
चमगादड़ में नेचुरल तौर पर कई वायरस मौजूद होते हैं। इनमें से कई इंसानों के लिए घातक होते हैं, लेकिन इनसे चमगादड़ों को नुकसान नहीं होता। वहीं, ऐसा समझा जाता है कि चीन के वुहान में चमगादड़ से ही COVID-19 वायरस इंसानों में फैला। स्टडी में साइंटिस्ट् ने लिखा कि अब भी यह साफ नहीं हो पाया है कि क्यों कुछ कोरोना वायरस ही इंसानों को संक्रमित करते हैं। स्टडी में इस बात की भी सिफारिश की गई है कि चमगादड़ से इंसानों के संक्रमण के खतरे पर लगातार निगरानी रखी जानी चाहिए।
भारत के चमगादड़ों की दो प्रजाति में COVID-19 से अलग बैट कोरोना वायरस (BtCoV) पाए गए हैं। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के रिसर्चर्स की स्टडी में ये खुलासा हुआ है।केरल, हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी, तमिलनाडु के 25 चमगादड़ों में BtCoV पाए गए। ये चमगादड़ Rousettus और Pteropus प्रजाति के हैं। चमगादड़ों में बैट कोरोना वायरस मिलने की खबर देने वाली स्टडी को इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल रिसर्च में प्रकाशित किया गया है।पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) के साइंटिस्ट डॉ। प्रज्ञा डी यादव ने कहा कि इस बात को साबित करने के लिए कोई सबूत या रिसर्च नहीं हैं कि बैट कोरोना वायरस इंसानों में बीमारी पैदा कर सकते हैं।
रिसर्च पेपर लिखने वाली डॉ। प्रज्ञा ने कहा कि बैट कोरोना वायरस का COVID-19 से कोई संबंध नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि चमगादड़ में इससे पहले निपाह वायरस भी मिले थे।चमगादड़ में नेचुरल तौर पर कई वायरस मौजूद होते हैं। इनमें से कई इंसानों के लिए घातक होते हैं, लेकिन इनसे चमगादड़ों को नुकसान नहीं होता। वहीं, ऐसा समझा जाता है कि चीन के वुहान में चमगादड़ से ही COVID-19 वायरस इंसानों में फैला।स्टडी में साइंटिस्ट् ने लिखा कि अब भी यह साफ नहीं हो पाया है कि क्यों कुछ कोरोना वायरस ही इंसानों को संक्रमित करते हैं। स्टडी में इस बात की भी सिफारिश की गई है कि चमगादड़ से इंसानों के संक्रमण के खतरे पर लगातार निगरानी रखी जानी चाहिए।