Live Hindustan : Jul 15, 2019, 03:34 PM
कर्नाटक. कर्नाटक में जारी राजनीतिक संकट के बीच कांग्रेस नेता सिद्धारमैया ने कहा कि कुमारस्वामी सरकार गुरुवार यानी 18 जुलाई को 11 बजे विश्वास मत साबित करेगी। हालांकि, भाजपा ने सोमवार को मुख्यमंत्री कुमारस्वामी से विश्वास मत साबित करने की मांग की। कांग्रेस और जेडीएस के 16 विधायक इस्तीफा सौंप चुके हैं। हालांकि, स्पीकर रमेश कुमार ने अभी तक फैसला नहीं लिया।उधर, सभी बागी विधायक स्पीकर के इस्तीफे स्वीकार ना करने के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंचे हैं। इस मामले में अगली सुनवाई मंगलवार को होनी है। अदालत ने तब तक यथास्थिति रखने का फैसला किया है। ऐसे में अभी तय नहीं है कि कुमारस्वामी सरकार यथास्थिति में बहुमत साबित करती है या स्पीकर के फैसले के बाद। यथास्थिति में विश्वासमत साबित करने पर क्या होगा?पहली: 16 बागी विधायक सरकार के खिलाफ वोटिंग करें। इस स्थिति में सरकार के पक्ष में 100 वोट पड़ेंगे। ये संख्या बहुमत के लिए जरूरी 112 के आंकड़े से कम है। ऐसे में कुमारस्वामी सरकार सदन में विश्वासमत खो देगी। सरकार के खिलाफ वोट करने पर बागियों की सदस्यता खत्म हो जाएगी।दूसरी: बागी विधायक सदन से अनुपस्थित रहें। इस स्थिति में विश्वासमत के समय सदन में सदस्य संख्या 207 रह जाएगी। बहुमत के लिए जरूरी आंकड़ा 104 का हो जाएगा। लेकिन, बागियों की अनुपस्थिति में सरकार के पक्ष में केवल 100 वोट पड़ेंगे और सरकार गिर जाएगी।तीसरी: बागियों के इस्तीफे मंजूर हो जाएं। इस स्थिति में भी सरकार को बहुमत के लिए 104 विधायकों की जरूरत होगी, जो उसके पास नहीं होंगे। सरकार गिर जाएगी।चौथी: अगर विधानसभा अध्यक्ष बागियों को अयोग्य ठहरा देते हैं तो भी सदन में विश्वासमत के वक्त सरकार को बहुमत के लिए 104 का आंकड़ा चाहिए। यह उसके पास नहीं होगा। ऐसे में भी सरकार गिर जाएगी।बागी विधायकों ने कहा- कांग्रेस के नेताओं से खतराइस्तीफा देने वाले कर्नाटक के 16 में से 14 विधायक बागी विधायक मुंबई के रेनेसां होटल में ठहरे हुए हैं। सोमवार को उन्होंने कहा कि कांग्रेस हमें कई तरह से प्रभावित करने और डराने की कोशिश कर रही है। विधायकों ने मुंबई पुलिस को पत्र लिखकर दूसरी बार सुरक्षा की मांग की। इसमें लिखा है कि वे गुलाम नबी आजाद या मल्लिकार्जुन खड़गे समेत कर्नाटक कांग्रेस के किसी भी नेता से नहीं मिलना चाहते। हमें उनसे खतरा है। सुरक्षा के मुद्दे पर कांग्रेस नेताओं के खिलाफ फिर से सुप्रीम कोर्ट भी जा सकते हैं।पत्र पर हस्ताक्षर करने वाले विधायकों में शिवराम हेब्बर, बीसी पाटिल, महेश के, विश्वनाथ, मुनिरत्नम, नारायण गौड़ा, आर शंकर, एच नागेश, प्रताप पाटिल, गोपालैया, रमेश जे, एमटीबी नागराज, सोमशेखर और बासवराज शामिल हैं।विधानसभा में आज कांग्रेस-जेडीएस विधायकों की बैठकइससे पहले बेंगलुरु के रिसॉर्ट में ठहरे कांग्रेस-जेडीएस विधायक एक बस से विधानसभा पहुंचे हैं। आज विधानमंडल की बैठक होनी है। कांग्रेस के मंत्री डीके शिवकुमार ने कहा कि हमें भरोसा है कि विधायक पार्टी में लौट आएंगे। अगर उन्होंने विश्वास मत के खिलाफ वोट किया तो सदस्यता रद्द हो जाएगी। इस पर भाजपा नेता और पूर्व मुख्यमंत्री येदियुरप्पा ने कहा कि स्पीकर पर विधायकों की सदस्यता रद्द करने का अधिकार नहीं है। येदियुरप्पा का दावा है कि कांग्रेस-जेडीएस सरकार के पास अब बहुमत नहीं है। फ्लोर टेस्ट हुआ तो सरकार गिरेगी।