देश: 10 ट्रेड यूनियनों की आज देशव्यापी हड़ताल, घर से निकलें संभलकर

देश - 10 ट्रेड यूनियनों की आज देशव्यापी हड़ताल, घर से निकलें संभलकर
| Updated on: 09-Aug-2020 09:32 AM IST
नई दिल्लीः केंद्र सरकार के आत्मनिर्भर भारत का नारा देते हुए पूरे देश के सार्वजनिक उपक्रमों एवं सरकारी संस्थाओं को निजीकरण तथा श्रम कानूनों मे मजदूर विरोधी संशोधन के खिलाफ केंद्रीय ट्रेड यूनियनों ने आज 'भारत बचाओ' दिवस मनाने का निर्णय लिया है। इस हड़ताल की वजह से ट्रेन और बसों का चक्का जाम भी किया जा सकता हैं, क्योंकि इनमें कार्यरत कर्मचारी भी हड़ताल में शामिल हो रहे हैं। 


देशभर में धरना-प्रदर्शन

केंद्र सरकार की कथित जन विरोधी और मजदूर विरोधी नीतियों के खिलाफ सभी सेंट्रल ट्रेड यूनियंस पूरे देश में धरना-प्रदर्शन का आयोजन करेंगे। कोरोना महामारी के बीच हो रही इस हड़ताल का ज्यादा असर नहीं पड़ेगा। रविवार होने की वजह से ज्यादातर दफ्तरों में छुट्टी रहती है। हालांकि सार्वजनिक परिवहन सेवा प्रभावित हो सकती है। 


भारत छोड़ो आंदोलन का दिन

9 अगस्त को पूरा देश अंग्रेजों के खिलाफ शुरू हुए भारत छोड़ो आंदोलन के तौर पर मनाया जाता है, जिसे अगस्त क्रांति दिवस भी कहा जाता है। 1942 में महात्मा गांधी ने आजादी की लड़ाई में ये नारा दिया था। 


ये ट्रेड यूनियन शामिल

अखिल भारतीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस की महासचिव अमरजीत कौर ने कहा कि इस हड़ताल में आरएसएस से जुड़े भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) के अलावा इंटक, एचएमएस, सीटू, एटक सहित अन्य यूनियन शामिल हैं। भारत बचाओ आंदोलन सार्वजनिक उपक्रमों के निजीकरण, श्रमिक विरोधी नीतियां, श्रम कानूनों में बदलाव, बेरोजगारी, मंहगाई, लॉकडाउन के दौरान मजदूरों की वेतन कटौती आदि मुद्दों को लेकर किया जा रहा है। इस आंदोलन से देश के 25 किसान संग़ठन भी जुड़ेंगे।

इस दौरान केंद्र द्वारा सार्वजनिक उधमों के प्रतिष्ठानों जैसे रक्षा, कोयला, इस्पात, दूरसंचार, बैंक, बीमा, रेलवे, पेट्रोलियम, एयरपोर्ट और बंदरगाह समेत अन्य महत्वपूर्ण उधोगों को देशी-विदेशी पूंजीपतियों को कौड़ी के मोल सौंपे जाने के खिलाफ ट्रेड यूनियंस विरोध आयोजित कर केंद्र सरकार के इस विनाशकारी आत्मघाती और राष्ट्र विरोधी हथकंडों पर देशव्यापी विरोध दर्ज करेगें।


रेल कर्मचारी भी होंगे शामिल

इसके अलावा रेलवे में कार्यरत कर्मचारी भी हिस्सा लेंगे। रेलवे में 9 अगस्त को ‘रेल बचाओ- देश बचाओ’ आंदोलन किया जाएगा। सरकार द्वारा रेलवे की उत्पादन यूनिटों का निगमीकरण करने एवं रेलवे को निजी हाथों में बेचे जाने की प्रक्रिया शुरू करने के विरोध में ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन यह आंदोलन कर रहा है।

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