देश: भारत ने आसमान पर लिखी एक और सफलता, LCH भारतीय वायुसेना में शामिल

देश - भारत ने आसमान पर लिखी एक और सफलता, LCH भारतीय वायुसेना में शामिल
| Updated on: 03-Oct-2022 02:20 PM IST
New Delhi : भारतीय वायुसेना के बेड़े में आज देश का पहला स्वदेशी विमान जुड़ गया है। 10 लाइट कॉम्बैट हेलिकॉप्टर्स (Light Combat Helicopters) का पहले बैच वायुसेना में शामिल हो गया है। विमानों का यह बेड़ा भारतीय फोर्स की ताकत को न सिर्फ बढ़ाएगा, बल्कि पाकिस्तान और चीन की सीमाओं पर दुश्मन का खात्मा करने में भी सक्षम होगा। हल्के वजन वाले इन विमानों की मदद से सेना सीमाओं पर आसानी से मिसाइल और अन्य हथियारों को ले जा सकेगी और दुश्मन का पलभर में खात्मा कर सकेगी। इन विमानों को खास ऊंचाई वाले इलाकों में खास ऑपरेशन के लिए बनाया गया है। 

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता और वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी की उपस्थिति में जोधपुर में विमानों का यह बेड़ा वायुसेना में शामिल हो गया। इन खास किस्म के विमानों को एयरोस्पेस प्रमुख हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) द्वारा विकसित किया गया है। इन्हें मुख्य रूप से उच्च ऊंचाई वाले क्षेत्रों में तैनाती के लिए डिजाइन किया गया है। यही वजह है कि इन स्वदेशी लड़ाकू विमानों का इस्तेमाल सीमाओं पर उन जगहों पर भी किया जाएगा, जहां फाइटर जेट का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता

बॉर्डर पर दुश्मन का खात्मा

वायुसेना के अधिकारियों ने का कहना है कि एलसीएच 'एडवांस लाइट हेलिकॉप्टर' ध्रुव से समानता रखता है। इसमें कई में 'स्टील्थ' (राडार से बचने की) विशेषता, बख्तरबंद सुरक्षा प्रणाली, रात को हमला करने और आपात स्थिति में सुरक्षित उतरने की क्षमता है। इस खासियत से ये अत्याधुनिक विमान रात के अंधेरे में दुश्मन को पता लगे बिना खात्मा करने में माहिर है। 

10 वायुसेना में और 5 सेना के बेड़े में होंगे शामिल

अधिकारियों ने कहा है कि 5.8 टन वजनी दो इंजन वाले लाइट कॉम्बैट हेलिकॉप्टर्स का पहले ही विभिन्न हथियारों से फायरिंग परीक्षण पूरा किया जा चुका है। इससे पहले मार्च में, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी (सीसीएस) ने 3,887 करोड़ रुपये की लागत से 15 स्वदेशी रूप से विकसित लिमिटेड सीरीज प्रोडक्शन (एलएसपी) एलसीएच की खरीद को मंजूरी दी थी। रक्षा मंत्रालय ने जानकारी दी है कि 10 हेलीकॉप्टर भारतीय वायुसेना के लिए और पांच भारतीय सेना के लिए होंगे। 

अधिकारियों के अनुसार, इन स्वदेशी हेलिकॉप्टरों में कई खासियत हैं जो सेना को युद्ध के दौरान काफी सहायता दे सकते हैं। दुश्मन की खोज और खुद के बचाव (सीएसएआर), दुश्मन की वायु रक्षा (डीईएडी) को नष्ट करने और आतंकवाद विरोधी ( सीआई) संचालन इसकी खूबियों में है। इन हेलीकॉप्टरों को ऊंचाई वाले बंकर-बस्टिंग ऑपरेशन, जंगलों और शहरी वातावरण में आतंकवाद विरोधी अभियानों के साथ-साथ जमीनी बलों की मदद करने के लिए भी तैनात किया जा सकता है।

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