IND vs ENG: लॉर्ड्स टेस्ट में टीम इंडिया को 22 रनों से करारी हार का सामना करना पड़ा। एक समय ऐसा लग रहा था कि भारत यह मैच आसानी से जीत लेगा, लेकिन इंग्लैंड के गेंदबाजों ने शानदार वापसी करते हुए भारत की उम्मीदों पर पानी फेर दिया। इस हार से सबसे ज्यादा निराशा रवींद्र जडेजा को हुई, जिन्होंने दूसरी पारी में 181 गेंदों पर नाबाद 61 रनों की जुझारू पारी खेली। हालांकि, उन्हें अन्य बल्लेबाजों का साथ नहीं मिला, जिसके कारण भारत यह ऐतिहासिक जीत हासिल करने से चूक गया।
हार के बाद पूर्व भारतीय क्रिकेटर अजय जडेजा ने सोनी स्पोर्ट्स से बातचीत में अपनी राय रखी। उन्होंने कहा, “जब आप जीत के इतने करीब पहुंचकर हार जाते हैं, तो निराशा होना स्वाभाविक है। रवींद्र से ज्यादा निराश शायद ही कोई होगा। कई चीजें गलत हुईं, लेकिन असली टीम वही है जो ऐसे हालात से और मजबूती के साथ उबरती है।” उन्होंने आगे कहा, “खिलाड़ियों ने इस दौरे के लिए सालों मेहनत की, रणनीतियां बनाईं, लेकिन इतने करीब आकर हारना आसान नहीं होता। चाहे जितना समझा लें, दर्द तो रहेगा।”
लॉर्ड्स टेस्ट में भारत को 193 रनों का अपेक्षाकृत आसान लक्ष्य मिला था। यशस्वी जायसवाल, शुभमन गिल, ऋषभ पंत, केएल राहुल और रवींद्र जडेजा की फॉर्म को देखते हुए यह लक्ष्य हासिल करना संभव लग रहा था। लेकिन इंग्लैंड के गेंदबाजों, खासकर जोफ्रा आर्चर और बेन स्टोक्स, ने शानदार लाइन और लेंग्थ के साथ भारतीय बल्लेबाजी को तहस-नहस कर दिया। चौथे दिन भारत ने चार महत्वपूर्ण विकेट गंवाए, और पांचवें दिन लंच से पहले पंत, राहुल और वॉशिंगटन सुंदर आउट हो गए। जडेजा, नितीश रेड्डी, जसप्रीत बुमराह और मोहम्मद सिराज ने आखिरी समय तक संघर्ष किया, लेकिन भारत 22 रनों से लक्ष्य से चूक गया।
इस हार ने कई सवाल खड़े किए हैं। भारतीय बल्लेबाजों को इंग्लैंड की गेंदबाजी के सामने रणनीति में बदलाव की जरूरत थी, जो नहीं हो सका। जडेजा की नाबाद पारी ने दिखाया कि अगर अन्य बल्लेबाजों ने थोड़ा और साथ दिया होता, तो नतीजा कुछ और हो सकता था। अजय जडेजा ने सही कहा कि असली चुनौती अब इस हार से उबरकर अगले मैच में बेहतर प्रदर्शन करने की होगी। ड्रेसिंग रूम में निराशा का माहौल है, लेकिन यह भारतीय टीम के लिए अपनी कमियों को सुधारने और मजबूती से वापसी करने का मौका भी है।