IPO Market 2025: मीशो के IPO ने रचा इतिहास: को-फाउंडर विदित आत्रे बने अरबपति, हजारों करोड़ का मुनाफा
IPO Market 2025 - मीशो के IPO ने रचा इतिहास: को-फाउंडर विदित आत्रे बने अरबपति, हजारों करोड़ का मुनाफा
ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म मीशो के IPO ने भारतीय शेयर बाजार में अपनी धमाकेदार एंट्री के साथ ही एक नया कीर्तिमान स्थापित कर दिया है. कंपनी की लिस्टिंग के बाद इसके शेयरों में अप्रत्याशित उछाल देखने को मिला, जिसने न केवल निवेशकों को उत्साहित किया बल्कि कंपनी के सह-संस्थापकों को भी रातों-रात अरबपतियों की सूची में शामिल कर दिया.
मीशो के IPO ने बाजार में आते ही कमाल कर दिया है. लिस्टिंग के बाद कंपनी के शेयरों में जोरदार तेजी आई, जिससे निवेशकों में उत्साह का माहौल बन गया और शेयर की कीमत अपने इश्यू प्राइस ₹111 से बढ़कर ₹193 प्रति शेयर के रिकॉर्ड स्तर तक पहुंच गई, जो 74 प्रतिशत से अधिक की प्रभावशाली बढ़त दर्शाती है. इस शानदार प्रदर्शन ने कंपनी की बाजार में मजबूत स्थिति. को उजागर किया और भविष्य के लिए सकारात्मक संकेत दिए.
सह-संस्थापकों की संपत्ति में जबरदस्त उछाल
इस तेजी का सबसे बड़ा फायदा मीशो के को-फाउंडर और कंपनी की कमान संभालने वाले विदित आत्रे को मिला. IPO लिस्टिंग के दिन ही उनकी नेटवर्थ सीधे 1 अरब डॉलर (करीब ₹9,128 करोड़) तक पहुंच गई, जिससे वे तत्काल अरबपति क्लब में शामिल हो गए. आत्रे के पास कंपनी के 47. 25 करोड़ शेयर हैं, जो कंपनी में उनकी 11. 1 प्रतिशत हिस्सेदारी को दर्शाता है. वहीं, कंपनी के दूसरे को-फाउंडर संजीव बर्नवाल के पास भी 31. 6 करोड़ शेयर हैं, जिनकी कीमत अब करीब ₹6,099 करोड़ आंकी गई है. यह उछाल दोनों सह-संस्थापकों के लिए एक महत्वपूर्ण वित्तीय उपलब्धि है, जो उनके वर्षों की कड़ी मेहनत और दूरदर्शिता का परिणाम है.मीशो की स्थापना और विकास
मीशो की स्थापना साल 2015 में विदित आत्रे और संजीव बर्नवाल ने मिलकर की थी. इन दोनों दूरदर्शी उद्यमियों ने एक ऐसे प्लेटफॉर्म की कल्पना की. थी जो भारत के छोटे व्यवसायों और व्यक्तियों को सशक्त बना सके. आज, मीशो भारत के सबसे बड़े और असरदार सोशल कॉमर्स प्लेटफॉर्म में से एक बन चुका है. यह प्लेटफॉर्म लोगों और छोटे कारोबारियों को रीसेलर्स के एक मजबूत नेटवर्क के जरिए प्रोडक्ट बेचने. का अवसर प्रदान करता है, जिससे वे बिना किसी बड़े निवेश के अपना व्यवसाय शुरू कर सकें.प्रमुख निवेशकों का विश्वास
मीशो की सफलता की कहानी में कई बड़े निवेशकों का भी महत्वपूर्ण योगदान रहा है. कंपनी में Meta, SoftBank, Sequoia Capital, Y Combinator, Naspers और Elevation Capital जैसे दिग्गज निवेशक शामिल हैं और इन प्रमुख वैश्विक निवेशकों के समर्थन ने मीशो को हाल के वर्षों की सबसे ज्यादा चर्चा में रहने वाली डिजिटल कॉमर्स कंपनियों में से एक बना दिया है. यह निवेश न केवल कंपनी की वित्तीय स्थिरता को दर्शाता है, बल्कि इसकी विकास क्षमता और बाजार में इसकी स्थिति पर उनके विश्वास को भी प्रदर्शित करता है.विदित आत्रे: दूरदर्शी नेतृत्व
विदित आत्रे मीशो में चेयरमैन, मैनेजिंग डायरेक्टर और CEO की महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां संभाल रहे हैं. वे कंपनी की शुरुआत 13 अगस्त 2015 से ही इससे जुड़े. हुए हैं और इसके विकास में एक केंद्रीय भूमिका निभा रहे हैं. IIT दिल्ली से इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएट आत्रे, कंपनी की रणनीति, बड़े फैसलों और लंबे समय की ग्रोथ की दिशा तय करते हैं. उनका नेतृत्व और तकनीकी पृष्ठभूमि मीशो को लगातार नवाचार और विस्तार की ओर ले जा रही है.आत्रे का पूर्व अनुभव और सम्मान
मीशो की स्थापना से पहले, विदित आत्रे ITC लिमिटेड और इनमोबी जैसी प्रतिष्ठित कंपनियों में काम कर चुके हैं, जहां उन्होंने मूल्यवान अनुभव प्राप्त किया और उनकी उद्यमिता और नेतृत्व क्षमता को कई राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर पहचान मिली है. उन्हें Forbes Asia 30 Under 30 और Forbes India 30 Under 30 (2018) जैसी प्रतिष्ठित सूचियों में शामिल किया गया है. इसके अतिरिक्त, उन्हें Entrepreneur मैगजीन 35 Under 35 (2019) और Fortune India 40 Under 40 (2021, 2024 और 2025) में भी जगह मिल चुकी है, जो उनकी असाधारण उपलब्धियों का प्रमाण है.मीशो का चुनौतीपूर्ण प्रारंभिक सफर
हालांकि, मीशो का सफर हमेशा आसान नहीं रहा. कंपनी की शुरुआत Fashnear नाम से हुई थी, जो एक हाइपरलोकल फैशन डिलीवरी ऐप था. यह मॉडल फ्लिपकार्ट के शुरुआती मॉडल से प्रेरित था, लेकिन यह आइडिया जल्दी ही विफल हो गया और इसका मुख्य कारण यह था कि ग्राहकों के लिए डिलीवरी की गति से ज्यादा प्रोडक्ट का विकल्प और विविधता मायने रखती थी. इस प्रारंभिक असफलता के बाद, टीम ने एक Shopify जैसे डिजिटल स्टोरफ्रंट का निर्माण किया, जो पहले. से बेहतर था, लेकिन बड़े स्तर पर विकास हासिल करने में यह भी सफल नहीं हो पाया. इन शुरुआती असफलताओं ने टीम को महत्वपूर्ण सबक सिखाए और उन्हें अपने व्यवसाय मॉडल को लगातार परिष्कृत करने के लिए प्रेरित किया, जिसके परिणामस्वरूप आज का सफल मीशो प्लेटफॉर्म अस्तित्व में आया.सफलता की नई ऊंचाइयों पर मीशो
मीशो का IPO और उसके बाद शेयरों में आई तेजी कंपनी के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है और यह न केवल विदित आत्रे और संजीव बर्नवाल जैसे संस्थापकों के लिए एक व्यक्तिगत जीत है, बल्कि यह भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम की बढ़ती ताकत और क्षमता का भी प्रतीक है. मीशो ने दिखाया है कि सही दृष्टिकोण, दृढ़ता और नवाचार के साथ, एक स्टार्टअप भी वैश्विक स्तर पर पहचान बना सकता है और अपने संस्थापकों को अरबपतियों की सूची में शामिल कर सकता है. यह सफलता भारत के डिजिटल कॉमर्स परिदृश्य में मीशो की अग्रणी भूमिका को और मजबूत करती. है, जिससे यह लाखों छोटे व्यवसायों और उद्यमियों के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गया है.