Israel News: जहां एक ओर रूस यूक्रेन युद्ध में फंसा होने के कारण अपने हथियार निर्यात में भारी गिरावट झेल रहा है, वहीं दूसरी ओर इजराइल ने युद्धग्रस्त रहते हुए भी हथियारों के बाजार में इतिहास रच दिया है। साल 2024 में इजराइल ने रिकॉर्ड 14.8 अरब डॉलर के हथियार बेचे — यह उसके रक्षा निर्यात का अब तक का सबसे ऊंचा आंकड़ा है।
इजराइल की यह उपलब्धि इसलिए भी खास है क्योंकि वह खुद कई मोर्चों पर संघर्षरत है — गाजा, सीरिया, लेबनान, यमन और ईरान तक। बावजूद इसके, दुनिया में उसके हथियारों की मांग तेजी से बढ़ रही है। इजराइली रक्षा मंत्रालय के अनुसार, 2024 में उसके रक्षा निर्यात में 13% की वृद्धि दर्ज की गई है। 2023 में यह आंकड़ा 13 अरब डॉलर था।
SIPRI और जेम्सटाउन फाउंडेशन की रिपोर्ट के मुताबिक, रूस का हथियार निर्यात 2021 से 2024 के बीच 92% तक गिर चुका है। लगातार चल रहे युद्ध, आर्थिक प्रतिबंधों और डिलीवरी में बाधाओं ने रूस को अंतरराष्ट्रीय हथियार बाजार से लगभग बाहर कर दिया है। इसके ठीक उलट, इजराइल की “प्रूवन इन बैटल” टेक्नोलॉजी को दुनियाभर में खूब सराहा जा रहा है। उसकी हथियार प्रणालियों को आधुनिक युद्ध की कसौटी पर खरा माना जा रहा है।
2024 में इजराइल के हथियार निर्यात का सबसे बड़ा हिस्सा यूरोप से आया। कुल निर्यात का 54% हिस्सा यूरोपीय देशों को गया — जो 2023 में मात्र 35% था। जर्मनी के साथ 3.8 अरब डॉलर की Arrow-3 मिसाइल डिफेंस सिस्टम डील इस साल की सबसे बड़ी रक्षा डील रही। रूस से बढ़ती दूरी के चलते यूरोपीय देश अपनी सैन्य क्षमताएं बढ़ा रहे हैं, और इजराइल इसका प्रमुख लाभार्थी बन गया है।
भारत, फिलीपींस, सिंगापुर और वियतनाम जैसे देशों में इजराइली हथियारों की मांग लगातार बढ़ रही है। 2020-2024 के दौरान भारत ने अपने कुल हथियार आयात का 13% हिस्सा इजराइल से खरीदा, जबकि फिलीपींस ने 27%। अरब देशों में भी इजराइली रक्षा तकनीक की पैठ बढ़ रही है — 2023 में जहां यह मात्र 3% थी, 2024 में यह 12% तक पहुंच गई। मोरक्को ने तो Elbit के हॉविट्ज़र, PULS रॉकेट सिस्टम्स से लेकर उपग्रह तक खरीदे हैं।
इजराइल के कुल रक्षा निर्यात में सबसे बड़ा योगदान मिसाइल, एयर डिफेंस सिस्टम्स और रॉकेट्स का रहा, जो कुल निर्यात का 48% हिस्सा रहे। इनके बाद बख्तरबंद गाड़ियां (9%), मानवयुक्त विमान (8%), साइबर व इंटेलिजेंस सिस्टम (4%), और ड्रोन व UAVs (1%) जैसे उत्पाद रहे।
हालांकि 2020-2024 के बीच इजराइल की वैश्विक रक्षा बाजार में हिस्सेदारी केवल 3.1% रही है, लेकिन उसकी विकास दर बाकी देशों से कहीं ज्यादा तेज रही है। युद्ध से जर्जर रूस के मुकाबले इजराइल एक टेक्नोलॉजी-संचालित सैन्य निर्यातक के रूप में उभर रहा है, जिसने अपनी रणनीतिक स्थिति को हथियार बाजार में भुनाने में सफलता पाई है।