Firozabad News: अपने दोस्त की जुदाई बर्दाश्त नहीं कर सका युवक, जलती चिता में कूदा; दर्दनाक मौत

Firozabad News - अपने दोस्त की जुदाई बर्दाश्त नहीं कर सका युवक, जलती चिता में कूदा; दर्दनाक मौत
| Updated on: 28-May-2023 08:49 AM IST
Firozabad News: दुनिया में हर रिश्ता हमारे लिए पहले से ही तय होकर आता है, लेकिन एक दोस्ती ही ऐसा रिश्ता है जिसे हम खुद चुनते हैं. दोस्ती ऐसा अनमोल रिश्ता है कि लोग मरते दम तक इसे निभाते हैं. जिंदगी भर साथ रहने और हर सुख-दुख बांटने के वादे-कसमें तो हर दोस्ती में खाए जाते हैं, लेकिन उत्तर प्रदेश के फिरोजाबाद जिले से दोस्ती एक ऐसी तस्वीर सामने आई है जिसने लोगों को हैरत में डाल दिया है. दरअसल यहां एक युवक कैंसर से पीड़ित था जिस कारण उसकी मौत हो गई. जब ये बात उसके दोस्त को पता लगी तो वो उससे बिछड़ने का गम बर्दाशत नहीं कर पाया और उसकी जलती चिता में कूद गया. जिस कारण उसका 90 प्रतिशत शरीर जल गया और इलाज के दौरान उसकी भी मौत हो गई.

युवक के इस आत्मघाती फैसले का किसी को अंदाजा नहीं था. किसी ने नहीं सोचा था कि 30 साल पुरानी दोस्ती का अंत इतना दर्दनाक होगा. ये पूरा मामला नगला खंगर थाना क्षेत्र में आने वाले मढ़ैया नादिया और गढिया पंचवटी गांव का है. यहां रहने अशोक और गौरव के बीच पिछले 30 सालों से बहुत अच्छी दोस्ती थी. पूरे गांव में दोनों एक दूसरे की परछाई कहते थे, क्योंकि दोनों हर जगह चाहे वो कोई समारोह हो या कार्यक्रम साथ ही जाते थे. दरअसल कार्यक्रमों में गाना-बजाने का काम करते थे एक ढोलक बजाता तो दूसरा मजीरा.

दोस्त की मौत का लगा गहरा सदमा

समय आगे बढ़ रहा था और दोनों की दोस्ती इस बीतते समय के साथ और मजबूत होती जा रही थी. इसी बीच अशोक को पता चला की उसे कैंसर हो गया है. जिस वजह से उसकी तबीयत खराब रहने लगी और वो ज्यादा काम पर भी नहीं जातता था. दोस्त को ऐसे देख गौरव भी हर समय परेशान रहने लगा. दोस्ती की बीमारी के बाद वो ज्यादा समय अशोक के साथ ही बिताता था. गौरव हमेशा अशोक को कहता था कि वो जल्द स्वस्थ्य हो जाएगा, लेकिन शायद किस्मत को कुछ और ही मंजूर था.

शनिवार को खबर आई कि अशोक की मौत हो गई है. यह बात सुनते ही मानो गौरव के पैरों के नीचे से जमीन निकल गई हो. वो सदमें में चला गया. उसने किसी से कोई बात नहीं की. वो अपने दोस्त की अंतिम विदाई के लिए उसके घर गया. वहां वो एक कौने में चुपचाप खड़ा रहा, उसने किसी से कोई बात नहीं की. फिर अंतिम संस्कार के लिए भी वह अन्त्येष्टि स्थल गया, वहां वो चिता के पास ही शांत गमगीन खड़ा रहा.

दोस्त की चिता पर जाकर लेटा गौरव

अशोक की चिता को अग्नि के हवाले कर दिया गया. सभी लोग वहां मौजूद थे. जैसे-जैसे चिता धधकती गई लोग धीरे-धीरे वापस आने लगे, लेकिन गौरव चिता के पास शांत खड़ा रहा. तभी अचानक उसने एक आत्मघाती कदम उठाया और दोस्त की चिता में छलांग लगा दी और जाकर जलती चिता में जिंदा लेट गया. ये देख वहां खड़े लोगों के होश उड़ गए. लोगों ने उसे पास में पड़े अर्थी के डंडे की मदद से गौरव को बाहर निकाला, और फौरन अस्पताल लेकर दौड़े लेकिन इसी बीच अस्पताल पहुंचने से पहले ही गौरव ने दम तोड़ दिया. अभी अशोक की चिता ठंड़ी भी नहीं हुई थी गौरव ने भी इस दुनिया को अलविदा कह दिया.

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