Nepal New PM: नेपाल में हाल ही में भड़की हिंसा और जनआंदोलन के बाद सत्ता परिवर्तन देखने को मिला है। लंबे विरोध प्रदर्शनों और हिंसक घटनाओं के चलते तत्कालीन प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली को पद से इस्तीफा देना पड़ा। इसके बाद नेपाल की जनता और राजनीतिक सहमति के आधार पर सुप्रीम कोर्ट की पूर्व चीफ जस्टिस सुशीला कार्की को अंतरिम प्रधानमंत्री चुना गया।
भारत ने सुशीला कार्की को अंतरिम प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने पर बधाई दी और नई सरकार का स्वागत किया। भारत की ओर से जारी बयान में कहा गया—
“हम नेपाल में सुशीला कार्की के नेतृत्व में अंतरिम सरकार के गठन का स्वागत करते हैं। हमें विश्वास है कि यह कदम नेपाल में शांति और स्थिरता लाने में सहायक होगा। भारत और नेपाल के बीच ऐतिहासिक संबंध रहे हैं और दोनों देश हमेशा जनता की भलाई और तरक्की के लिए मिलकर काम करते रहेंगे।”
राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल ने एक औपचारिक समारोह में सुशीला कार्की को शपथ दिलाई। इस शपथ के साथ ही वे न केवल नेपाल की अंतरिम प्रधानमंत्री बनीं बल्कि देश के इतिहास में पहली महिला प्रधानमंत्री के रूप में भी दर्ज हो गईं।
नेपाल में यह बदलाव अचानक नहीं आया। सोशल मीडिया पर बैन, बढ़ते भ्रष्टाचार और बेरोजगारी को लेकर युवाओं का गुस्सा भड़क उठा था। राजधानी काठमांडू समेत कई शहरों में हुए प्रदर्शनों में हिंसा फैल गई और कई युवाओं की मौत भी हुई। प्रदर्शनकारियों ने नेताओं के खिलाफ तीखा आक्रोश जताया और यहां तक कि पूर्व प्रधानमंत्रियों पर हमला किया। इस उग्र माहौल में केपी शर्मा ओली को इस्तीफा देकर देश छोड़ना पड़ा।
अब सुशीला कार्की के सामने सबसे बड़ी चुनौती नेपाल को स्थिरता की ओर ले जाने और जनता का भरोसा फिर से कायम करने की है। भारत और नेपाल के रिश्ते ऐतिहासिक और सांस्कृतिक रूप से गहरे जुड़े हैं। ऐसे में कार्की के नेतृत्व में नई अंतरिम सरकार से लोगों को शांति, विकास और मजबूत पड़ोसी रिश्तों की उम्मीद है।