- भारत,
- 24-Jun-2025 07:20 AM IST
Gold Price Today: ईरान और इजराइल के बीच जारी युद्ध के चलते वैश्विक भू-राजनीतिक तनाव का पारा चढ़ता जा रहा है। इस बढ़ती अनिश्चितता का असर अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड की कीमतों पर साफ दिख रहा है। आमतौर पर जब दुनिया में तनाव और अस्थिरता बढ़ती है, तो निवेशक सुरक्षित विकल्प के तौर पर सोने की ओर रुख करते हैं। यही कारण है कि अमेरिका और अन्य अंतरराष्ट्रीय बाजारों में गोल्ड के दाम चढ़ गए हैं। लेकिन हैरानी की बात यह है कि भारत की राजधानी दिल्ली में इसके उलट नजारा देखने को मिला है।
दिल्ली में सस्ता हुआ सोना
सोमवार को अखिल भारतीय सर्राफा संघ के अनुसार, दिल्ली के बाजार में 99.9 फीसदी प्योरिटी वाला सोना 160 रुपये की गिरावट के साथ 99,800 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गया। जबकि शुक्रवार शुक्रवार को यह 99,960 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर बंद हुआ था। 99.5 फीसदी प्योरिटी वाला सोना भी 150 रुपये गिरकर 99,100 रुपये प्रति 10 ग्राम (सभी करों सहित) पर पहुंच गया। चांदी की कीमतों में हालांकि कोई बदलाव नहीं हुआ और यह 1,05,200 रुपये प्रति किलोग्राम पर स्थिर रही।
अमेरिका में गोल्ड के दाम में उछाल
वहीं न्यूयॉर्क के अंतरराष्ट्रीय बाजार में गोल्ड फ्यूचर और स्पॉट दोनों की कीमतों में तेजी दर्ज की गई है। कॉमेक्स पर गोल्ड फ्यूचर रात 8 बजे तक 7.50 डॉलर की तेजी के साथ 3,393.20 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार करता दिखा। वहीं, गोल्ड स्पॉट की कीमतों में 11 डॉलर से अधिक की तेजी आई और ये 3,379.54 डॉलर प्रति औंस तक पहुंच गईं।
कीमतों में उतार-चढ़ाव का कारण क्या है?
कोटक सिक्योरिटीज की एवीपी-कमोडिटी रिसर्च कायनात चैनवाला का कहना है कि सोमवार को सोने की कीमतें एक समय 3,413.80 डॉलर प्रति औंस तक पहुंच गई थीं। लेकिन इसके बाद गिरावट देखने को मिली क्योंकि निवेशक ईरान पर अमेरिका के संभावित हवाई हमलों और उस पर तेहरान की प्रतिक्रिया का इंतजार कर रहे थे।
वहीं एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज की रिसर्च एनालिस्ट रिया सिंह का कहना है कि जून महीने में अब तक घरेलू बाजार में सोने की कीमतें करीब 4 फीसदी बढ़ी हैं, लेकिन कमजोर आभूषण मांग और अंतरराष्ट्रीय रुझानों के कारण ये ग्लोबल रेट्स की तुलना में कम बनी हुई हैं।
आगे क्या?
जानकारों की मानें तो आने वाले दिनों में गोल्ड की कीमतों में और इजाफा देखने को मिल सकता है, खासकर अगर पश्चिम एशिया में हालात और बिगड़ते हैं। इसके अलावा, अमेरिकी फेडरल रिजर्व की आगामी टिप्पणियां, महंगाई आंकड़े और जीडीपी डेटा भी सोने की चाल को प्रभावित करेंगे।
