DA Hike: केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए आने वाला हफ्ता बेहद महत्वपूर्ण हो सकता है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, 15 अगस्त 2025 तक केंद्र सरकार महंगाई भत्ते (DA) में बढ़ोतरी की घोषणा कर सकती है। इसके साथ ही सातवें वेतन आयोग की अंतिम किस्त के बाद अब आठवें वेतन आयोग की प्रक्रिया को तेज करने की भी चर्चा जोरों पर है।
सातवें वेतन आयोग की अवधि 31 दिसंबर 2025 को समाप्त होने जा रही है। इसके साथ ही केंद्र सरकार के लगभग 50 लाख कर्मचारी और 62 लाख पेंशनभोगी आठवें वेतन आयोग की घोषणा का इंतजार कर रहे हैं। सरकार ने जनवरी 2024 में आठवें वेतन आयोग की घोषणा तो कर दी थी, लेकिन अभी तक आयोग के अध्यक्ष की नियुक्ति नहीं हुई है। इस देरी के कारण आयोग के गठन और कार्यान्वयन में अनिश्चितता बनी हुई है।
केंद्र सरकार के कर्मचारियों का वेतन केवल मूल वेतन तक सीमित नहीं है। इसमें महंगाई भत्ता (DA), मकान किराया भत्ता (HRA), यात्रा भत्ता (TA) जैसे कई अन्य लाभ शामिल होते हैं। हाल के वर्षों में इन भत्तों की हिस्सेदारी बढ़ी है और अब ये कुल वेतन का लगभग 50% हिस्सा बनाते हैं। DA में होने वाली बढ़ोतरी का सीधा असर कर्मचारियों की सैलरी पर पड़ता है।
महंगाई भत्ते की समीक्षा हर छह महीने में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) के आधार पर की जाती है। जुलाई 2025 की DA समीक्षा पर अभी तक सरकार का कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन सूत्रों के हवाले से कहा जा रहा है कि स्वतंत्रता दिवस से पहले इस पर बड़ा ऐलान हो सकता है।
वेतन वृद्धि में फिटमेंट फैक्टर की भूमिका अहम होती है। सातवें वेतन आयोग ने इसे 2.57 तय किया था। नई रिपोर्ट्स के मुताबिक, आठवें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 1.83 से 2.46 के बीच हो सकता है। अगर 2.46 का फिटमेंट फैक्टर लागू होता है, तो ₹18,000 मूल वेतन वाले कर्मचारी की सैलरी बढ़कर ₹44,280 तक पहुंच सकती है।
सातवें वेतन आयोग ने केवल 14.3% की मूल वेतन वृद्धि की सिफारिश की थी, जो पिछले कई दशकों में सबसे कम थी। वहीं, छठे वेतन आयोग ने 54% की शानदार वृद्धि दी थी। हालांकि, सातवें वेतन आयोग के तहत भत्तों में समय-समय पर संशोधन के कारण कर्मचारियों को कुल मिलाकर 23% तक की वेतन वृद्धि मिली।
केंद्र सरकार के कर्मचारी और पेंशनभोगी अब 15 अगस्त का इंतजार कर रहे हैं। अगर इस तारीख तक DA में बढ़ोतरी की घोषणा होती है और आठवें वेतन आयोग की प्रक्रिया में तेजी आती है, तो यह लाखों लोगों के लिए बड़ी राहत होगी। यह न केवल उनकी आर्थिक स्थिति को मजबूत करेगा, बल्कि सरकार के प्रति उनके विश्वास को भी बढ़ाएगा।