Maharashtra Band: बॉम्बे HC के आदेश के बाद MVA ने वापस लिया महाराष्ट्र बंद का एलान

Maharashtra Band - बॉम्बे HC के आदेश के बाद MVA ने वापस लिया महाराष्ट्र बंद का एलान
| Updated on: 24-Aug-2024 07:08 AM IST
Maharashtra Band : बॉम्बे हाई कोर्ट द्वारा राजनीतिक दलों या व्यक्तियों को महाराष्ट्र बंद का आह्वान करने से रोकने के बाद, महाविकास आघाड़ी (MVA) ने राज्यव्यापी बंद को वापस लेने का फैसला किया। MVA ने यह बंद ठाणे के बदलापुर में एक स्कूल में दो बच्चियों के कथित यौन उत्पीड़न के विरोध में बुलाया था, जिसका आयोजन 24 अगस्त को होना था। 


उद्धव ठाकरे की नई रणनीति

शिवसेना (यूबीटी) के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने कहा कि अब MVA के नेता और कार्यकर्ता पूरे राज्य में काले झंडों के साथ प्रदर्शन करेंगे। उन्होंने कहा कि नेता और कार्यकर्ता मुंह पर काली पट्टी बांधकर और हाथों में काले झंडे लेकर अपने विरोध को व्यक्त करेंगे। 


हाई कोर्ट का फैसला

शुक्रवार को बॉम्बे हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डी.के. उपाध्याय और न्यायमूर्ति अमित बोरकर की खंडपीठ ने एक याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि महाराष्ट्र सरकार को बंद को रोकने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने होंगे। न्यायाधीशों ने कहा कि वे बंद के आह्वान को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर शीघ्र ही विस्तृत आदेश पारित करेंगे। कोर्ट ने राज्य को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि किसी भी राजनीतिक दल या व्यक्ति को बंद का आह्वान करने से रोका जाए।


महाराष्ट्र सरकार की प्रतिक्रिया

महाराष्ट्र सरकार के महाधिवक्ता बीरेंद्र सराफ ने कोर्ट को बताया कि हड़ताल का आह्वान अवैध है और राज्य सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि मानव जीवन या संपत्ति को कोई नुकसान न हो। राज्य की ओर से कहा गया कि सरकार अपने कर्तव्यों का पालन करेगी, लेकिन सभी को संवैधानिक जिम्मेदारियों का पालन करना होगा।


अधिवक्ता की दलीलें और मराठा आरक्षण का उदाहरण

अधिवक्ता सुभाष झा और गुणरत्न सदावर्ते ने याचिका में केरल उच्च न्यायालय के एक फैसले का हवाला देते हुए कहा कि कोई भी राजनीतिक दल राज्यव्यापी बंद का आह्वान नहीं कर सकता। उन्होंने मराठा आरक्षण आंदोलन का भी उदाहरण दिया, जिसके दौरान सार्वजनिक संपत्ति का बड़ा नुकसान हुआ था।


मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और फडणवीस की आलोचना

मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग मुख्यमंत्री पद पाने के लिए इस तरह की राजनीति कर रहे हैं। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी विपक्ष की आलोचना करते हुए कहा कि यह बंद केवल राजनीति के लिए किया गया है। उन्होंने कहा कि विपक्ष ने कोलकाता में एक महिला डॉक्टर के बलात्कार और हत्या के मामले पर ममता बनर्जी की सरकार के खिलाफ कोई स्टैंड नहीं लिया, लेकिन महाराष्ट्र में अपने स्वार्थ के लिए बंद का आह्वान किया।


उद्धव ठाकरे की जनता से अपील

हाई कोर्ट के फैसले से पहले उद्धव ठाकरे ने कहा था कि MVA द्वारा बुलाया गया बंद राजनीतिक नहीं है, बल्कि एक विकृति के खिलाफ है। उन्होंने लोगों से इसमें भाग लेने की अपील की थी। हालांकि, हाई कोर्ट के आदेश के बाद उन्होंने कहा कि MVA बंद की जगह राज्यव्यापी प्रदर्शन करेगा और कोर्ट के फैसले को चुनौती देने की संभावना पर विचार कर रहा है।


शरद पवार की प्रतिक्रिया

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के प्रमुख शरद पवार ने भी महाराष्ट्र में बढ़ते अपराधों पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि राज्य में बच्चियों और महिलाओं के खिलाफ अत्याचार बढ़ रहे हैं और गृह विभाग को सतर्क रहना चाहिए।


इस घटनाक्रम से स्पष्ट है कि महाराष्ट्र की राजनीति में MVA और राज्य सरकार के बीच टकराव की स्थिति बनी हुई है, जहां एक ओर MVA ने विरोध के नए तरीकों को अपनाया है, वहीं दूसरी ओर राज्य सरकार ने कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए सख्त कदम उठाने की तैयारी की है।

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