Farmer Protest: हरियाणा में कई जिलों में इंटरनेट सेवा बंद करने का आदेश, किसान आंदोलन का असर

Farmer Protest - हरियाणा में कई जिलों में इंटरनेट सेवा बंद करने का आदेश, किसान आंदोलन का असर
| Updated on: 10-Feb-2024 09:26 PM IST
Farmer Protest: किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए हरियाणा सरकार ने मोबाइल इंटरनेट सेवा को राज्य के कई जिलों में बंद करने का फैसला लिया है। इसके लिए हरियाणा के गृह मंत्रीलय की तरफ से आदेश जारी किया गया है। जारी आदेश के अनुसार हरियाणा राज्य के अंबाला, कुरूक्षेत्र, कैथल, जिंद, हिसार, फतेहाबाद और सिरसा जिलों के अधिकार क्षेत्र में वॉयस कॉल को छोड़कर, मोबाइल नेटवर्क पर प्रदान की जाने वाली मोबाइल इंटरनेट सेवाएं, बल्क एसएमएस और सभी डोंगल सेवाएं आदि निलंबित कर दी गईं। बता दें कि हरियाणा सरकार का ये आदेश 11 फरवरी की सुबह 6 बजे से 13 फरवरी की रात 11:59 बजे तक लागू रहेगा।

किसानों के प्रदर्शन को लेकर सरकार अलर्ट

बता दें कि किसानों के 13 फरवरी को प्रस्तावित 'दिल्ली चलो' मार्च से पहले हरियाणा सरकार पूरी तरह से अलर्ट है। वहीं किसानों के इस प्रदर्शन के दौरान किसी तरह की अफवाहें ना फैले इसे ध्यान में रखते हुए हरियाणा सरकार ने इंटरनेट सेवाओं को प्रतिबंधित रखने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही हरियाणा पुलिस ने राज्य में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की 50 कंपनियां तैनात की हैं। अधिकारियों ने शुक्रवार को जानकादी दी थी कि किसी को भी शांति व सद्भाव बिगाड़ने नहीं दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि पुलिस ने किसानों से अगले सप्ताह होने वाले मार्च में बिना अनुमति के भाग नहीं लेने को कहा है और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी भी दी है। 

200 से अधिक किसान यूनियन हो सकते हैं शामिल

बता दें कि संयुक्त किसान मोर्चा और किसान मजदूर मोर्चा ने फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी के लिए कानून बनाने सहित कई मांगों को स्वीकार करने के सिलसिले में केंद्र पर दबाव बनाने को लेकर 13 फरवरी को 'दिल्ली चलो' मार्च की घोषणा की थी। इसमें 200 से अधिक किसान यूनियन हिस्सा ले सकते हैं। ऐसे में किसानों के इस व्यापक प्रदर्शन को लेकर हरियाणा की सरकार कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती है। हरियाणा पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राज्य में रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) समेत केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की 50 कंपनियां तैनात की गई हैं।

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