देश / एनसीबी अफसर वानखेड़े के खिलाफ उगाही के आरोपों को लेकर मुंबई पुलिस ने बिठाई जांच

Zoom News : Oct 28, 2021, 02:35 PM
मुंबई: मुंबई पुलिस के एसीपी स्तर के एक अधिकारी ने भी बुधवार को एनसीबी के क्षेत्रीय निदेशक समीर वानखेड़े के खिलाफ जबरन वसूली के आरोपों और अन्य मुद्दों की स्वतंत्र जांच शुरू कर दी है। वानखेड़े के खिलाफ मुंबई के अलग-अलग थानों में चार शिकायतें दर्ज की गई हैं। मुंबई पुलिस ने शिकायतों की जांच के लिए चार अधिकारियों को नियुक्त किया है। अतिरिक्त पुलिस आयुक्त दिलीप सावंत की देखरेख में यह जांच कराई जा रही है। 

पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पुलिस एनसीबी मामले में स्वतंत्र गवाह प्रभाकर सेल, वकील सुधा द्विवेदी, कनिष्क जैन और नितिन देशमुख की ओर से दायर चार शिकायतों की जांच कर रही है। संयुक्त पुलिस आयुक्त विश्वास नांगरे पाटिल ने बुधवार को इस संबंध में आदेश जारी किया है। अधिकारी ने बताया कि मुंबई पुलिस ने वानखेड़े के खिलाफ मिली चारों शिकायतों को एक साथ जोड़ लिया है। चारों शिकायतों को माता रमाबाई अंबेडकर मार्ग थाने में रिकॉर्ड में लाया गया है।

अधिकारी ने यह भी बताया कि अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (दक्षिण क्षेत्र) दिलीप सावंत जांच की निगरानी करेंगे और डीसीपी हेमराज सिंह बागुल पर्यवेक्षक अधिकारी के रूप में उनकी सहायता करेंगे। सहायक पुलिस आयुक्त मिलिंद खेतले, पुलिस निरीक्षक अजय सावंत, सहायक पीआई श्रीकांत करकर और उप निरीक्षक प्रकाश गवाली जांच दल का हिस्सा होंगे।

एनसीबी की टीम ने दर्ज कराए वानखेडे़ के बयान 

क्रूज ड्रग्स मामले में शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान की गिरफ्तारी के बाद उसकी रिहाई के लिए 25 करोड़ की रिश्वत मांगने के आरोपों पर मुंबई क्षेत्रीय निदेशक समीर वानखेड़े के खिलाफ सतर्कता जांच शुरू हो गई। एनसीबी की पांच सदस्यीय सतर्कता जांच टीम बुधवार को मुंबई पहुंची और वानखेड़े के बयान दर्ज कराए। 

वानखेडे़ के खिलाफ सतर्कता जांच का नेतृत्व कर रहे एनसीबी के उप महानिदेशक (उत्तरी क्षेत्र) ज्ञानेश्वर सिंह ने बताया कि उनकी टीम ने दक्षिण मुंबई के बलार्ड एस्टेट स्थित विभाग के दफ्तर से कुछ दस्तावेज व रिकॉर्डिंग भी जब्त किये हैं। उन्होंने बताया कि इस जांच से जुड़े सभी गवाहों को बुलाया जाएगा और बयान दर्ज किए जाएंगे। वहीं वानखेड़े क्रूज ड्रग्स मामले की जांच जारी रखेंगे की नहीं, इस पर सिंह ने कुछ नहीं कहा। 

मलिक ने जारी किया निकाहनामा, वानखेड़े बोले, सही है पर धर्म नहीं बदला

क्रूज ड्रग्स मामले की जांच कर रहे नॉरकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) मुंबई के जोनल निदेशक समीर वानखेडे़ हिंदू हैं या मुस्लिम इसको लेकर बुधवार को विवाद और गहरा गया। एनसीपी प्रवक्ता व मंत्री नवाब मलिक ने वानखेडे़ के जन्म प्रमाण पत्र के बाद अब उनका निकाहनामा जारी किया। निकाह कराने वाले काजी ने भी इसकी तस्दीक की है।

जवाब में समीर वानखेड़े ने इसे स्वीकार तो किया लेकिन साथ ही दावा किया कि उन्होंने अपना धर्म कभी नहीं बदला, वह हमेशा से हिंदू हैं। समीर वानखेड़े का उनकी पहली पत्नी डॉ. शबाना कुरैशी से निकाह हुआ था। मलिक ने इस शादी का निकाहनामा ट्वीट कर उसमें लिखा, इस निकाहनामे में समीर का नाम समीर दाऊद वानखेडे़ लिखा है।

साल 2006 में 7 दिसंबर के दिन बृहस्पतिवार को रात 8 बजे समीर दाऊद वानखेड़े और शबाना कुरैशी के बीच मुंबई के अंधेरी (पश्चिम) के लोखंडवाला कॉम्पलेक्स में निकाह हुआ। दूसरे ट्वीट में मलिक ने लिखा, निकाह में 33 हजार मेहर के रूप में अदा की गई थी। इसमें गवाह नंबर दो अजीज खान थे जो वानखेडे़ की बहन यास्मीन के पति हैं।

मलिक ने इससे पहले वानखेडे़ का जन्म प्रमाणपत्र जारी कर फर्जी तरीके से नौकरी हासिल करने का आरोप लगाया था जिस पर वो अब भी कायम हैं। मलिक ने कहा, मैं वानखेडे़ के धर्म को नहीं बल्कि उनके कपटपूर्ण कृत्य को सामने लाना चाहता हूं जिसके जरिये उन्होंने आईआरएस की नौकरी हासिल की और एक अनुसूचित जाति के व्यक्ति का हक मारा।

मां की खुशी के लिए किया निकाह: वानखेड़े

मलिक और काजी के दावे के जवाब में समीर वानखेड़े ने कहा, उन्होंने अपनी दिवंगत मां की इच्छा के अनुसार (2006 में) मुस्लिम रीति-रिवाजों के अनुसार शादी की थी। धर्मनिरपेक्ष देश में अपनी मां की इच्छा को पूरा करना कोई अपराध नहीं है। मुझे अपने देश में धर्म निरपेक्षता पर गर्व है। मेरी मां मुस्लिम थीं और मेरे पिता हिंदू हैं। मैं उन दोनों से बहुत प्यार करता हूं। लेकिन मैंने कभी इस्लाम नहीं अपनाया था, मैं हिंदू ही हूं।

उन्होंने कहा, पहली शादी एक महीने के भीतर विशेष विवाह कानून के तहत पंजीकृत की गई थी। तलाक की प्रक्रिया भी विशेष विवाह कानून के तहत पूरी की गई थी। उनकी पत्नी क्रांति रेडकर ने भी यही दावा किया कि समीर ने कभी भी अपना धर्म नहीं बदला और उनका निकाह भी विशेष विवाह कानून के तहत पंजीकृत हुआ था।

काजी ने भी किया दावा- मुस्लिम हैं समीर वानखेडे़

समीर वानखेडे़ का निकाह कराने वाले काजी मुजम्मिल अहमद भी सामने आए और दावा किया कि वानखेडे़ मुसलमान है। काजी ने कहा, उनके पिता ने मुंबई के लोखंडवाला परिसर इलाके में शादी कराने के लिए मुझसे संपर्क किया था। दूल्हे का नाम समीर दाऊद वानखेड़े था जिसने शबाना कुरैशी से शादी की थी। शरीयत के मुताबिक गैरमुस्लिम का निकाहनामा नहीं कराया जा सकता।

निकाह के दौरान समीर वानखेडे़ ने खुद और अपने पिता को मुसलमान बताया था। इसी वजह से मैने निकाह करवाया। गवाहों ने इस्लाम के रीति-रिवाज से निकाहनामा पर हस्ताक्षर भी किए थे। यही नहीं निकाहनामा में उर्दू भाषा में किए गए हस्ताक्षर भी वानखेडे़ के ही हैं। निकाह में 33 हजार की मेहर के रूप में अदा की गई थी।

पिता बोले- मैं दलित, मेरे पूर्वज हिंदू तो बेटा मुसलमान कैसे?

धर्म को लेकर छिड़े विवाद में समीर वानखेडे़ के पिता ज्ञानदेव वानखेडे़ ने बेटे का बचाव करते हुए कहा, मैं दलित हूं, मेरे पूर्वज (दादा-परदादा) हिंदू, तो मेरा बेटा मुसलमान कैसे हो सकता है। हां मैंने अंतर्जातीय विवाह किया था लेकिन न मेरी पत्नी और न ही मैंने ही कभी अपना धर्म बदला। उन्होंने कहा, मैं उर्दू नहीं समझता इसलिए मुझे नहीं पता उनके दस्तावेज में क्या लिखा है। लेकिन मेरी पत्नी प्यार से दाऊद बुलाती थी। उन्होंने कहा, मेरा बेटा अभिमन्यु की तरह इस समय दुश्मनों से घिरा है, लेकिन हमें विश्वास है कि वह चक्रव्यूह को तोड़कर बाहर निकलेगा।

क्रूज पर अपनी पिस्टलधारी मंगेतर के साथ था वानखेडे़ का दाढ़ी वाला दोस्त: मलिक

एनसीपी नेता नवाब मलिक ने क्रूज ड्रग्स पार्टी को लेकर भी वानखेड़े को घेरा। उन्होंने कहा, क्रूज पर वानखेडे़ का एक दाढ़ी वाला दोस्त भी था जो अपनी मंगेतर के साथ डांस कर रहा था। ये दाढ़ी वाला दोस्त अंतरराष्ट्रीय ड्रग माफिया है। तिहाड़ और राजस्थान की जेल में भी रह चुका है। लेकिन समीर वानखेडे़ ने उसे गिरफ्तार नहीं किया। मलिक ने पूछा कि एनसीबी को बताना होगा कि आखिर यह दाढ़ी वाला शख्स कौन है।

किस देश का नागरिक है और उसके खिलाफ कितने मामले दर्ज हैं। क्रूज पार्टी का पूरा सीसीटीवी फुटेज है। एनसीबी की जो टीम यहां जांच करने आई है उसे यह फुटेज भी खंगालने चाहिए। अगर वानखेडे़ वीडियो नहीं देते हैं तो वह खुद इसका वीडियो मुहैया कराएंगे। मलिक ने यह भी दावा किया कि एनसीबी ने क्रूज पर छापामारी ही नहीं की थी। बस, ट्रैप लगाकर कुछ लोगों को फंसाया गया। अगर, क्रूज की सीसीटीवी फुटेज खंगाले जाएं तो सारी सच्चाई सामने आ जाएगी।

केंद्र से ली गई थी क्रूज पार्टी की इजाजत

मलिक ने साथ ही यह भी दावा किया कि क्रूज पार्टी की इजाजत महाराष्ट्र सरकार से नहीं बल्कि सीधे जहाजरानी महानिदेशालय से ली गई थी। यह केंद्र के अधिकार क्षेत्र में आता है।

वानखेड़े की बहन ने मलिक के खिलाफ महिला आयोग को लिखी चिट्ठी, पुलिस को भी दी शिकायत

क्रूज ड्रग्स केस में आर्यन खान की गिरफ्तारी के बाद आरोप-प्रत्यारोप का दौर फिलहाल थमने का नाम नहीं ले रहा है। एनसीपी नेता नवाब मलिक रोजाना नए खुलासे कर रहे हैं। मामला पारिवारिक सदस्यों को मामले में घसीटने तक पहुंच चुका है। अब समीर वानखेड़े की बहन यास्मीन वानखेड़े ने नवाब मलिक पर पलटवार किया है। 

मामला दर्ज करने की मांग

यास्मीन ने नवाब मलिक की बयानबाजी को लेकर उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत देकर मामला दर्ज करने की मांग की है। इसके साथ ही राष्ट्रीय महिला आयोग को चिट्ठी लिखकर अपने अधिकारों की रक्षा करने की अपील की है। 

हाईकोर्ट का तत्काल सुनवाई से इनकार

बॉम्बे हाईकोर्ट ने बुधवार को उस जनहित याचिका पर तत्काल सुनवाई करने से इनकार कर दिया जिसमें नवाब मलिक को ड्रग्स मामले में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के खिलाफ कोई भी टिप्पणी नहीं करने का निर्देश देने की मांग की गई थी। मुंबई निवासी कौसर अली ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की थी। अली का दावा है कि वह नशेड़ियों के पुनर्वास के लिए काम करता है। 

उन्होंने हाईकोर्ट से मलिक को एनसीबी या आर्यन खान मामले से जुड़ी किसी अन्य जांच एजेंसी के अधिकारियों के खिलाफ कोई टिप्पणी नहीं करने का निर्देश देने का आग्रह किया। याचिकाकर्ता के वकील अशोक सरोगी ने मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति एमएस कार्णिक की पीठ से तत्काल सुनवाई की मांग की। लेकिन हाईकोर्ट ने सरोगी को अवकाश पीठ से संपर्क करने के लिए कहा।

आर्यन की जमानत पर आज हो सकता है फैसला 

मुंबई क्रूज ड्रग्स मामले में गिरफ्तार आर्यन खान को बॉम्बे हाईकोर्ट में बुधवार को भी जमानत नहीं मिली। बुधवार को सुनवाई के दौरान आर्यन के वकील ने कहा, एनसीबी सिर्फ साजिश की बात कर रही है लेकिन अधिकारिक रूप से ऐसे आरोप कहीं नहीं लगाए। अब एनसीबी की ओर से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह अब बृहस्पतिवार को अपनी दलीलें रखेंगे।

जस्टिस एनडब्ल्यू सांबरे ने कहा कि वह कोशिश करेंगे कि बृहस्पतिवार को इस मामले में फैसला सुनाया जाए। बुधवार को करीब दो घंटे चली सुनवाई के दौरान आर्यन के वकील मुकुल रोहतगी ने कहा, यह गिरफ्तारी सीधे तौर पर सांविधानिक प्रावधानों का उल्लंघन है क्योंकि गिरफ्तारी वारंट में सत्य और सही आधार नहीं दिया गया।

वहीं अरबाज मर्चेंट के वकील अमित देसाई ने कहा कि एनडीपीएस कोर्ट ने इस मामले में दो अन्य आरोपियों मनीष राजगड़िया और अविन साहू को जमानत दे दी है तो हमारे मुवक्किल को जमानत क्यों नहीं दी जा रही। जबकि दोनों पर समान आरोप हैं और रिहा किए गए एक के पास से तो 2.6 ग्राम गांजा भी बरामद हुआ था तो दूसरे ने स्वीकार किया है कि उसने गांजे का सेवन भी किया।

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