- भारत,
- 08-Apr-2025 05:40 PM IST
Share Market Today: सोमवार को शेयर बाजार के बंद होते समय जैसी मायूसी और अनिश्चितता का माहौल था, उससे यही लग रहा था कि मंगलवार का दिन भी निवेशकों के लिए परेशानियों भरा होगा। लेकिन अमेरिकी शेयर बाजार की रातभर की चाल और डोनाल्ड ट्रंप के बयान ने तस्वीर पूरी तरह बदल दी। मंगलवार की सुबह जब भारतीय बाजार खुले, तो हर ओर सिर्फ हरियाली ही हरियाली दिखाई दी।
निफ्टी 50 ने 22,446 पर दमदार शुरुआत की और 22,577 के इंट्राडे हाई तक चढ़ते हुए करीब 1.88% की उछाल दिखाई। सेंसेक्स भी 74,013 से शुरू होकर 74,421 के उच्च स्तर तक पहुंचा और 1.75% की मजबूती दर्ज की। बैंक निफ्टी ने तो 50,388 पर गैप-अप ओपनिंग की और फिर 50,793 तक चढ़ते हुए 1.87% का इजाफा किया।
सभी सेक्टर्स में लौटी रौनक
बीएसई के सभी सेक्टोरल इंडेक्स में खरीदारी देखी गई। स्मॉल-कैप इंडेक्स में 1.35% और मिड-कैप में लगभग 1.10% की तेजी रही। सिर्फ 20 मिनट में निवेशकों को 7.7 लाख करोड़ रुपए की जबरदस्त रिकवरी मिली। सुबह 11:45 बजे तक 340 शेयरों में सर्किट लगा, जिनमें से 165 अपर और 175 लोअर सर्किट में पहुंचे। साथ ही, 37 शेयरों ने 52 हफ्तों का उच्चतम स्तर और 46 ने लोअर लेवल छू लिया।
तेजी की वजह क्या है? जानिए 7 बड़े कारण
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ट्रेड वॉर तनाव में नरमी
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने संकेत दिया कि कई देश, विशेषकर वियतनाम, अमेरिकी टैरिफ पर बातचीत करने के लिए तैयार हैं। इससे ट्रेड वॉर का डर कम हुआ है, और ग्लोबल ट्रेड सेंटिमेंट सुधरा है। -
ग्लोबल मार्केट से पॉजिटिव संकेत
एशियाई बाजारों में भी जबरदस्त तेजी देखी गई। जापान का निक्केई 5% और हांगकांग का हैंग सेंग 1.5% तक चढ़ा। इससे निवेशकों का भरोसा बढ़ा और भारतीय बाजारों में भी रफ्तार आई। -
शॉर्ट कवरिंग का असर
सोमवार की गिरावट के बाद बड़ी संख्या में ट्रेडर्स ने शॉर्ट पोजिशन ली थी। मंगलवार को बाजार चढ़ते ही उन्होंने उन्हें कवर करना शुरू किया, जिससे तेजी को और बल मिला। -
आरबीआई की दर कटौती की उम्मीद
आरबीआई की पॉलिसी बैठक चल रही है और उम्मीद है कि 25 बीपीएस तक की दर में कटौती हो सकती है। इससे बाजार में तरलता बढ़ेगी और महंगाई पर नियंत्रण रखने में मदद मिलेगी। -
Q4 रिजल्ट से पहले पॉजिटिव माहौल
बैंकिंग सेक्टर से अच्छे Q4 नतीजों की उम्मीद है। कई बैंक फंड जुटाने की योजनाएं बना रहे हैं, जिससे वित्तीय स्थिरता और विकास की उम्मीद मजबूत हुई है। -
कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट
ब्रेंट क्रूड की कीमतें $65 से नीचे आ गई हैं, जो ऊर्जा आयातक देश भारत के लिए बेहद राहत देने वाली खबर है। इससे महंगाई पर नियंत्रण और रुपये पर दबाव कम होगा। -
अमेरिकी बॉन्ड यील्ड और डॉलर में गिरावट
US 10-साल की यील्ड 4.5% से गिरकर 4.14% और 2-साल की यील्ड 4.28% से गिरकर 3.71% पर आ गई। डॉलर इंडेक्स भी नीचे आया, जिससे भारत जैसे उभरते बाजारों में एफआईआई निवेश बढ़ने की संभावना बनी।
निवेशकों की झोली में आया मोटा मुनाफा
बीएसई का मार्केट कैप मंगलवार को 3,96,95,580.37 करोड़ रुपए तक पहुंच गया, जो एक दिन पहले 3,89,25,660.75 करोड़ रुपए था। यानी सिर्फ 20 मिनट के भीतर ही बाजार में 7.70 लाख करोड़ रुपए की रिकवरी हुई — जो किसी राहत पैकेज से कम नहीं।