कोरोना वायरस / अगस्त के आखिर तक आ सकती है कोविड-19 की तीसरी लहर: आईसीएमआर के विशेषज्ञ

Zoom News : Jul 18, 2021, 07:17 AM
नई दिल्ली: भारत में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के खत्म होते ही तीसरी लहर का खतरा मंडरा रहा है. इंडियन कांउसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च(ICMR) के डिवीजन ऑफ एपिडेमियोलॉजी एंड कम्युनिकेबल डिजीज के प्रमुख डॉक्टर समीरन पांडा ने आशंका जाहिर की है कि अगस्त के अंत तक कोरोना वायरस की तीसरी लहर भी आ जाएगी. 

एक न्यूज चैनल से बात करते हुए डॉक्टर समीरन पांडा ने कहा है कि कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर, कोविड की दूसरी लहर जितनी भयावह नहीं होगी. हालांकि एक बार फिर से पूरा देश कोरोना की तीसरी लहर की जद में आएगा.

डॉक्टर समीरन पांडा ने कहा है कि कोविड-19 महामारी के दौरान लोगों की रोगों से लड़ने की प्रतिरोधक क्षमता कम हुई है. ऐसे में कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर का यह भी एक कारण बन सकता है. कमजोर इम्युनिटी के लोग कोरोना की इस लहर में आसानी से चपेट में आ सकते हैं.

कमजोर इम्युनिटी पर बना रहेगा खतरा

डॉक्टर समीरन पांडा का यह भी कहना है कि अगर ऐसी ही प्रतिरोधक क्षमता कम रही तो यह तीसरी लहर की एक बड़ी वजह बन सकता है. डॉक्टर समीरन पांडा ने यह भी दावा किया है कि कोरोना से लड़कर हासिल की गई इम्युनिटी को भी नया वेरिएंट कमजोर कर सकता है. अगर ऐसा हुआ कि कोरोना का नया वेरिएंट इम्युनिटी को दरकिनार कर गया तो बेहद तेजी से यह संक्रमण और फैल सकता है.

डेल्टा वेरिएंट के खतरनाक होने की आशंका नहीं

डॉक्टर समीरन पांडा ने कहा है कि ऐसी उम्मीद नहीं है कि डेल्टा और डेल्टा प्लस वेरिएंट जनजीवन पर और कहर बरपाएंगे. दरअसल उनसे यह सवाल किया गया था कि क्या डेल्टा प्लस वेरिएंट कोरोना की तीसरी लहर ला सकता है.

डॉक्टर गुलेरिया भी कर चुके हैं आगाह

दरअसल डॉक्टर समीरन पांडेय का यह बयान तब सामने आया है, जब हाल ही में एम्स के डायरेक्टर डॉक्टर रणदीप गुलेरिया ने कहा था कि कोरोना की तीसरी लहर लोगों की प्रतिरोधक क्षमता कम होने की वजह से आ सकती है. कोरोना संक्रमण के नए-नए वेरिएंट आ रहे हैं, सरकारें लॉकडाउन और अन्य प्रतिबंधों में ढील दे रही हैं. ऐसे में कोरोना के वायरस का फैलाव हो सकता है.

रैलियां बन सकती हैं कोरोना की सुपर स्प्रेडर इवेंट

गौरतलब है कि इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने इस सप्ताह की शुरुआत में कहा था कि कोविड -19 की तीसरी लहर जरूर आएगी और यह बेहद नजदीक है. वहीं आईएमए ने राज्य सरकारों से अपील की थी कि वे बड़ी रैलियों को आयोजित टालें, क्योंकि ऐसे इवेंट कोरोना के सुपर स्प्रेडर बन सकते हैं.

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