Technical / एक ही लोकेशन पर आ गईं सारी टैक्सी, हैकर्स ने लगवा दिया ट्रैफिक जाम

Zoom News : Sep 04, 2022, 06:25 PM
Technical | मोबाइल ऐप की मदद से टैक्सी बुक करना बेहद आसान हो गया है और मनचाही जगह टैक्सी मंगवाई जा सकती है। हालांकि, ऐसी ही एक ऐप को हैक करते हुए लंबा ट्रैफिक जाम लगवाने का मामला रूस की राजधानी मॉस्को में सामने आया है। रूस की राइड बुकिंग ऐप येन्डेक्स टैक्सी (Yandex Taxi) को हैक करने के बाद अटैकर ने एक वक्त पर एक ही जगह दर्जनों टैक्सी मंगवा लीं, जिसके चलते ट्रैफिक जाम की स्थिति बन गई। यह घटना 1 सितंबर को कुतुजोवस्की प्रॉस्पेक्ट में हुई, जो जगह ट्रैफिक के मामले में वैसे भी व्यस्त रहती है।

मॉस्को में लगे लंबे ट्रैफिक जाम का एक वीडियो ट्विटर और रेडिट प्लेटफॉर्म्स पर खूब शेयर हो रहा है। एक अकाउंट ने यह वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा कि किसी ने येन्डेक्स टैक्सी ऐप हैक कर सभी उपलब्ध टैक्सी एक ही जगह बुला लीं और बड़ा ट्रैफिक जाम लग गया। इस ट्वीट में यूजर ने लिखा कि यह किसी जेम्स बॉन्ड मूवी जैसा नजारा है, क्योंकि अब तक ऐसा सिर्फ फिल्मों में ही देखने को मिलता रहा है।

करीब 40 मिनट तक बनी रही ट्रैफिक जाम की स्थिति

येन्डेक्स टैक्सी ने रूसी सरकार की ओनरशिप वाले आउटलेट TASS को दिए बयान में कहा, “1 सितंबर की सुबह येन्डेक्स टैक्सी की सेवाओं पर अटैक करते हुए हैकर्स ने फिली क्षेत्र में दर्जनों ड्राइवर्स को बल्क ऑर्डर कर दिए थे।” रूसी इंटरनेट कंपनी येनडेक्स की टैक्सी सेवा ने कहा कि ट्रैफिक जाम की यह स्थिति करीब 40 मिनट तक देखने को मिली। इसने दावा किया है कि भविष्य में ऐसे अटैक्स को रोकने के लिए जरूरी बदलाव करते हुए इसके एल्गोरिद्म में सुधार किए गए हैं, जिससे यूजर्स को टैक्सी-बुकिंग का सही अनुभव मिलता रहे।

इस हैकिंग ग्रुप ने ली अटैक की जिम्मेदारी

येनडेक्स ने अब तक कन्फर्म नहीं किया है कि इस अटैक के लिए कौन जिम्मेदार था। हालांकि, एनॉनिमस नाम के हैकर्स ग्रुप ने ट्विटर पर इस ट्रैफिक जाम की जिम्मेदारी ली है। कहा जा रहा है कि यह ग्रुप यूक्रेन की सेना की IT टीम के साथ मिलकर काम करता है और यूक्रेन में रूस की घुसपैठ के बाद इसे यूक्रेन के उप-प्रधानमंत्री मिखाइलो फेडोरोव की मदद से तैयार किया गया था।

हैकर्स ने दी थी साइबर युद्ध छेड़ने की चेतावनी

एनॉनिमस नाम के हैकिंग ग्रुप ने इस साल की शुरुआत में रूस के खिलाफ साइबर युद्ध छेड़ने की चेतावनी दी थी। इस ग्रुप ने रूस के कई टीवी चैनल्स हाईजैक कर युद्ध की ऐसी वीडियो फुटेज चलाने का दावा किया था, जो रूस में अवैध मानी जा रही थी। यह ग्रुप रूस की सरकारी एजेंसियों का ढेर सारा डाटा भी चोरी कर चुका है और रूस के खिलाफ साइबर कैंपेन चला रहा है।

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