देश / भारत-चीन सीमा पर इस साल कोई घुसपैठ नहीं, भारत-पाक सीमा पर 11 घुसपैठिए मारे गए: केंद्र

Zoom News : Aug 10, 2021, 08:14 AM
नई दिल्ली: रक्षा मंत्रालय ने राज्यसभा में सोमवार को एक सवाल के लिखित जवाब में बताया कि इस साल भारत-चीन सीमा पर घुसपैठ का कोई मामला सामने नहीं आया है. यह आंकड़ा सुरक्षा बलों व गृह मंत्रालय की रिपोर्ट के आधार पर 30 जून 2021 तक का है. रक्षा मंत्रालय का कहना है इस दौरान इंडो-पाकिस्तान बॉर्डर पर 33 बार घुसपैठ के प्रयास किए और 11 घुसपैठियों को मार गिराया गया है और 20 घुसपैठिए पकड़े गए हैं.

रक्षा मंत्रालय ने बताया कि इंडो-बांग्लादेश बॉर्डर पर 441 बार घुसपैठ की कोशिश की गई है. इस दौरान एक घुसपैठिया मारा गया और 740 को पकड़ा गया है. इसके अलावा इस साल 30 जून तक भारत-नेपाल सीमा पर 11 घुसपैठियों को पकड़ा गया है. म्यांमार में सैन्य तख्तापलट के बाद भारत-म्यांमार सीमा पार कर म्यांमार के 8486 नागरिक/शरणार्थी भारत आए, जिनमें से 5796 को वापस भेजा गया और 2690 अभी भी भारत में हैं.

रक्षा मंत्रालय ने कहा कि सीमा सुरक्षा बलों द्वारा पकड़े गए घुसपैठियों को संबंधित राज्य पुलिस को सौंप दिया जाता है. यह जानकारी रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट ने सोमवार को राज्यसभा में डॉ सस्मित पात्रा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी. अभी हाल ही में सेना और पुलिस के शीर्ष अधिकारियों ने बताया था कि इस साल अभी तक सीमा पार से घुसपैठ की कोई कोशिश सफल नहीं हुई है. घाटी में 15वीं कोर के जोन में घुसपैठ की कोई कोशिश सफल नहीं हुई है.

पेगासस विवाद पर भी रक्षा मंत्रालय ने राज्यसभा में दिया जवाब

इससे पहले रक्षा मंत्रालय ने पेगासस विवाद पर राज्यसभा में बताया कि उसने एनएसओ ग्रुप के साथ कोई लेन-देन नहीं किया है. दरअसल, इस समय यह इजरायली फर्म पेगासस स्पाइवेयरसे जुड़े कथित जासूसी विवाद के केंद्र में है. यह पहली बार है जब सरकार ने पेगासस जासूसी विवाद पर तीखे सवालों का जवाब दिया है. संसद के चालू मानसून सत्र के दौरान कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों के नेताओं ने सरकार पर हमला बोलते हुए इस मुद्दे पर पूरी बहस करने को कहा था. पिछले कई दिनों से संसद के दोनों सदनों में इस मुद्दे को लेकर गतिरोध बना हुआ है. 19 जुलाई से मानसून सत्र आरंभ हुआ था, लेकिन अब तक दोनों सदनों की कार्यवाही बाधित होती रही है. विपक्षी दलों का कहना है कि पेगासस जासूसी मुद्दे पर पहले चर्चा कराने के लिए सरकार के तैयार होने के बाद ही संसद में गतिरोध खत्म होगा. संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने विपक्ष की मांग को खारिज करते हुए लोकसभा में कहा था कि यह कोई मुद्दा ही नहीं है.

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