उत्तर प्रदेश विधानसभा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विपक्ष पर तीखा हमला बोलते हुए अवैध कब्जों के खिलाफ अपनी सरकार की दृढ़ नीति को दोहराया। उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जो भी किसी भी प्रकार का अवैध कब्जा करेगा, उसे बख्शा नहीं जाएगा और बुलडोजर की कार्रवाई को कोई नहीं रोक सकता। यह बयान उनकी सरकार की 'जीरो टॉलरेंस' नीति को दर्शाता है, खासकर भूमि अतिक्रमण और अपराध के मामलों में। मुख्यमंत्री का यह रुख राज्य में कानून-व्यवस्था बनाए रखने और जनता को सुरक्षित माहौल प्रदान करने की उनकी प्रतिबद्धता को उजागर करता है।
सुरक्षा और कानून-व्यवस्था का नया माहौल
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2017 से पहले के उत्तर प्रदेश और वर्तमान स्थिति की तुलना करते हुए राज्य में आए सकारात्मक बदलावों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि आज प्रदेश में सुरक्षा का माहौल है, जिसे राज्य के भीतर और बाहर दोनों जगह लोग महसूस कर रहे हैं और यह उनकी सरकार की प्राथमिकताओं में से एक रहा है कि नागरिकों को भयमुक्त वातावरण मिले। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनकी सरकार ने अपराधियों और अतिक्रमणकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करके यह माहौल बनाया है, जिससे आम जनता में विश्वास बढ़ा है। यह सुरक्षा का माहौल ही राज्य में निवेश और विकास के लिए अनुकूल परिस्थितियां पैदा कर रहा है।
अतिक्रमण पर सख्त रुख
अतिक्रमण के मुद्दे पर सीएम योगी ने अपनी सरकार की अडिग नीति को दोहराया और उन्होंने कहा कि जो भी किसी स्मारक या ऐतिहासिक जगह पर अतिक्रमण करेगा, चाहे वह कोई भी हो, उसे बख्शा नहीं जाएगा। यह बयान स्पष्ट करता है कि सरकार अवैध कब्जों के खिलाफ बिना किसी भेदभाव के कार्रवाई करेगी। यह नीति न केवल सरकारी भूमि बल्कि निजी संपत्तियों पर भी अवैध कब्जों को रोकने में सहायक होगी। बुलडोजर की कार्रवाई को एक प्रतीक के रूप में देखा जा रहा है, जो। यह दर्शाता है कि कानून का उल्लंघन करने वालों के लिए कोई जगह नहीं है।
सपा पर तीखा हमला: 'काफिला क्यों लुटा?
मुख्यमंत्री ने समाजवादी पार्टी (सपा) पर तीखा हमला बोलते हुए एक शेर का इस्तेमाल किया, "तू इधर-उधर की बातें मत कर, यह तो बता कि यह काफिला क्यों लुटा? " उन्होंने सपा पर आरोप लगाया कि उसने पूरे राज्य के लिए पहचान का संकट खड़ा किया और अराजकता का तांडव किया और सीएम योगी ने सवाल उठाया कि इस अराजकता के लिए कौन जिम्मेदार था। उन्होंने सपा से पूछा कि क्या पूजा पाल पीडीए का हिस्सा नहीं थीं, जिससे यह संकेत मिलता है कि सपा अपने ही घोषित सिद्धांतों पर खरी नहीं उतरी। यह हमला सपा की पिछली सरकारों के दौरान कानून-व्यवस्था की स्थिति और उनके शासन मॉडल पर सवाल उठाता है।
विकास की नई रफ्तार
सीएम योगी ने उत्तर प्रदेश में हुए अभूतपूर्व विकास कार्यों का भी उल्लेख किया और उन्होंने बताया कि आज राज्य में 16 एयरपोर्ट चालू हैं, जिनमें से 4 इंटरनेशनल एयरपोर्ट हैं। पांचवां और भारत का सबसे बड़ा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, जेवर में नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, अगले महीने चालू होने वाला है और यह दर्शाता है कि राज्य हवाई कनेक्टिविटी के क्षेत्र में तेजी से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने यह भी बताया कि 2017 से पहले उत्तर प्रदेश में केवल डेढ़ एक्सप्रेसवे थे, जबकि आज 21 एक्सप्रेसवे हैं और अगर सभी 22 एक्सप्रेसवे पूरे हो जाते हैं, तो देश के 60% एक्सप्रेसवे अकेले उत्तर प्रदेश में होंगे।
बुनियादी ढांचे में क्रांति
मुख्यमंत्री ने कहा कि देश का सबसे बड़ा रेलवे नेटवर्क (16,000 किलोमीटर) अभी उत्तर प्रदेश में है। इसके अलावा, देश में सबसे ज्यादा मेट्रो लाइनें भी उत्तर प्रदेश में हैं, जो शहरी परिवहन को सुगम बना रही हैं और उन्होंने यह भी दोहराया कि राज्य में देश में सबसे ज्यादा एयरपोर्ट हैं, जबकि 2017 से पहले बहुत कम एयरपोर्ट चालू थे। ये आंकड़े राज्य में बुनियादी ढांचे के विकास में हुई क्रांति को दर्शाते हैं, जिससे व्यापार, पर्यटन और रोजगार के नए अवसर पैदा हो रहे हैं। यह विकास राज्य की अर्थव्यवस्था को गति दे रहा है और इसे देश के अग्रणी राज्यों में से एक बना रहा है।
बांग्लादेश पर सपा को घेरा
सीएम योगी ने समाजवादी पार्टी पर बांग्लादेश को लेकर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि सपा गाजा की बात करती है लेकिन बांग्लादेश की नहीं, जहां दलितों की हत्या की गई। उन्होंने आरोप लगाया कि बांग्लादेश में मरने वाले हिंदू हैं, इसलिए सपा चुप है। मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर बांग्लादेश पाकिस्तान जैसा न बनता तो यह हाल नहीं होता। उन्होंने सपा पर दोहरे मापदंड अपनाने का आरोप लगाया, जहां वे गाजा के लिए कैंडल मार्च करते हैं, लेकिन बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचारों पर उनके मुंह सिल जाते हैं। यह बयान सपा की अल्पसंख्यक राजनीति और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर उनकी कथित चयनात्मक प्रतिक्रिया पर सवाल उठाता है।