Parliament Session / PM मोदी ने सुनाई संसद के इतिहास की यादें- नेहरू, कैश फॉर वोट, आपातकाल और 370 और भी बहुत कुछ

Zoom News : Sep 18, 2023, 02:32 PM
Parliament Session: आज पुराने संसद भवन में मोदी सरकार का पहला विशेष सत्र शुरू हुआ, जिसमें खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में चर्चा की शुरूआत की और संसद के 75 साल के इतिहास को देश के सामने रखा. संसद में पहली बार अपनी एंट्री को याद किया तो जवाहर लाल नेहरू समेत देश के अब तक के प्रधानमंत्रियों के बड़े फैसले भी देश को बताए. पीएम मोदी ने अपने संबोधन के दौरान कैश फॉर वोट, आरक्षण और धारा 370 को हटाने का जिक्र किया. कुल मिलाकर लोकसभा में पीएम मोदी ने संसद के इतिहास की खट्टी-मीठी यादें सुनाई.

नेहरू के भाषण की गूंज प्रेरित करती रहेगी- मोदी

पीएम मोदी ने लोकसभा में बोलते हुए देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू की ‘मिडनाइट’ स्पीच को याद किया. पीएम मोदी ने कहा कि इसी सदन में पंडित नेहरू के भाषण की गूंज हम सभी को प्रेरित करती रहेगी. 14-15 अगस्त 1947 को आधी रात में संविधान सभा में जवाहर लाल नेहरू ने ऐतिहासिक भाषण ‘ट्रिस्ट विद डेस्टिनी’ दिया था. पीएम ने कहा कि इस सदन ने अपने तीन प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू, लाल बहादुर शास्त्री और इंदिरा गांधी को अश्रुभरी विदाई भी दी. उस समय यह सदन आंसू से भर गया था.

आपातकाल और कैश फॉर वोट कांड भी देखा- मोदी

पीएम मोदी ने अपने भाषण में विपक्ष पर भी तंज कसा. भारतीय संसद की यात्रा का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि इसी सदन में हमनें बांग्लादेश की मुक्ति भी देखी और आपातकाल भी देखा, फिर लोकतंत्र की वापसी भी देखी. उन्होंने पिछली मनमोहन सिंह की सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि हमने यहां मनमोहन सरकार में ‘कैश फॉर वोट’ कांड भी देखा.

धारा 370 हटाने पर गर्व- मोदी

अपने संबोधन में पीएम मोदी ने जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाने का भी जिक्र किया. पीएम मोदी ने कहा कि धारा 370 हटाने पर इस सदन को हमेशा गर्व रहेगा. उन्होंने कहा कि यह संसद अटल बिहारी वाजपेयी का ‘यह देश रहना चाहिए’ के ऐतिहासिक भाषण का गवाह भी बना. साथ ही चौधरी चरण सिंह की सरकार में बना ग्रामीण मंत्रालय का गवाह भी बना. पीएम मोदी ने कहा कि इस सदन ने नरसिम्हा राव सरकार के आर्थिक सुधारों और साहसिक फैसलों को भी देखा. इस दौरान मोदी ने संसद भवन पर हुए आतंकी हमले को भी याद किया और कहा कि यह हमला इमारत पर नहीं हमारी जीवात्मा पर हुआ था.

संसद के विशेष सत्र को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने अपने बचपन का जिक्र करते हुए कहा कि रेलवे प्लेटफॉर्म पर गुजारा करने वाला एक बच्चा पार्लियामेंट पहुंच गया, ये लोकतंत्र की ताकत है. उन्होंने कहा कि जब मैं पहली बार संसद पहुंचा तो मैंने सीढ़ियों पर मत्था टेका. मैंने कभी नहीं सोचा था कि ये देश मुझे इतना प्यार देगा.

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