समाज / 'शिवाजी महाराज अमेरिका परिवार' (SMAP) ने शिवाजी की 346वीं राज्याभिषेक एनिवर्सरी मनाई

Zoom News : Jun 30, 2020, 11:27 AM
by Newshelpline . Mumbai | लॉस एंजिल्स, कैलिफोर्निया में 20 जून 2020 को 'शिवाजी महाराज अमेरिका परिवार' (SMAP) ने, श्री छत्रपति शिवाजी महाराज (Chhatrapati Shivaji Maharaj) की राज्याभिषेक एनिवर्सरी मनाई। इस इवेंट का सेलिब्रेशन ऑनलाइन किया गया। जिसमें 20 देशों के लगभग 500 लोगों ने फेसबुक लाइव फोरम पर हो रहे वीडियो कॉन्फ्रेंस को अटेंड किया। 

इस इवेंट की शुरुआत छत्रपति शिवाजी महाराज के ट्रेडिशनल अभिषेक के साथ हुई थी, जिसे लॉस एंजिल्स के अनिका और एशान पठान द्वारा कराया गया। इसके बाद अटलांटा के ओम और आरुष की आवाज से शिवगर्जना हुई। इस इवेंट के दौरान प्राथमिक और मिडिल स्कूलों के भारतीय और अमेरिकी बच्चों द्वारा दिए गए सम्मान को देखना मंत्रमुग्ध होने के बराबर था। इसके बाद, इस अवसर पर इंडियन नेशनल हीरों- पृथ्वीराज चौहान, महाराणा प्रताप सिंह, राजा कृष्णदेवराय, छत्रपति शिवाजी महाराज, महाराजा रणजीत सिंह, रानी लक्ष्मीबाई और कई अन्य लोगों को सम्मानित करने के लिए एक ऑडियो-विजुअल की प्रस्तुति दी गई।

सुजाता पद्मनाभम ने कहा, “हमारा कर्तव्य है कि हम भारतीय इतिहास की किताबों के पन्नों से इन हीरों को बाहर लाएं और उनके संदेशों को फिर से लिखें।" इसके बाद शिवाजी महाराज अमेरिका परिवार के फाउंडर विजय पाटिल (एसएमएपी फाउंडेशन इंक) को इनवाइट किया गया, जहां उन्होंने इस ऑर्गेनाइजेशन के विजन और मिशन के बारे में बात की।

विजय पाटिल ने कहा, "हम अभी भी तीन शब्दों को सुनकर प्रेरित होतें हैं 'छत्रपति शिवाजी महाराज'; जब हम उनका नाम जोर से और गर्व से लेतें है तो वो हमें एनर्जी देते हैं।" साथ ही उन्होंने राज्याभिषेक समारोह के महत्व और लोगों के राज्य की विजय के बारे में बताया, एक योग्यता पर आधारित समाज की सफलता जहां लिबर्टी, इक्वलिटी और जस्टिस सभी के लिए था। इस ऑर्गेनाइजेशन का मिशन श्री छत्रपति शिवाजी महाराज के लेजेंडरी लाइफ से सीखे गए एकता और लीडरशिप को फैलाना है जिसे आज की दुनिया में लागू किया जा सकता है। उन्होंने ऑर्गेनाइजेशन के चार प्रमुख उद्देश्यों के बारे में बताया, (1) नेताओं के ग्लोबल नेटवर्क का निर्माण (2) पहल को बढ़ावा देने के लिए लोगों को एकजुट करने में मदद  (3) दूसरों की मदद करना, जो इक्वलिटी लाने के लिए कम भाग्यशाली हो (4) दुनिया भर में लीडरशिप सेंटर की स्थापना करना।

इसके बाद उन्होंने दुनिया के विभिन्न हिस्सों जैसे- यूएसए, फ्रांस, कनाडा, ब्रिटेन, केन्या, मलेशिया, चीन और कई अन्य देशों के एसएमएपी लीडर्स की टीम को इंट्रोड्यूज किया।

भरत साओजी ने इसके बाद जॉर्जिया, यूएसए के गवर्नर, गुजरात और महाराष्ट्र के चीफ मिनिस्टर, बॉलीवुड आर्टिस्ट जैसे- महिमा चौधरी, टेनिस चैंपियंस अनिका रैना, श्री बाबासाहेब पुरनारे और अन्य लोगों से मिली मदद के बारे में बताया। उन्होंने विवेकानंद सेवा मंडल, विश्व मराठी परिषद, ईचवन टीचवन, होप बी~लिट, वीएचपीए, एनएफआईए, महाराष्ट्र मंडल फ्रांस और अन्य जैसे सपोर्टिंग ऑर्गेनाइजेशन को भी धन्यवाद दिया।

सिटी ऑफ़ ला पाल्मा, कैलिफ़ोर्निया से प्रो टेम, के मेयर  नितेश पटेल ने शाम के मुख्य वक्ता, मिस्टर फ्रेंकोइस गौटियर, जो एक फेमस ऑथर, जर्नलिस्ट, स्पीकर और एक कम्युनिस्ट कार्यकर्ता भी है, उन्हें इंट्रोड्यूज किया। मिस्टर गौटियर का जन्म और पालन-पोषण पेरिस में हुआ था। वह विश्व प्रसिद्ध लीडर नेपोलियन बोनापार्ट के हिस्ट्री को पढ़ते हुए बड़े हुए लेकिन बाद में जब वे इंडिया आएं तो उन्होंने छत्रपति शिवाजी महाराज के जीवन के बारे में पढ़ा और उनके सबसे बड़े फैन बन गए। फिर उन्होंने पुणे में छत्रपति शिवाजी महाराज का म्युजियम बनाने के लिए अपना जीवन समर्पित करने का फैसला किया।

मिस्टर गौटियर ने अपने स्पीच में नेपोलियन बोनापार्ट और छत्रपति शिवाजी महाराज के बारे में बात की। उन्होंने अपने स्पीच में यह भी बताया कि महान छत्रपति शिवाजी महाराज के बारे में अधिक जानने के लिए वो पुणे भी गए थे, लेकिन उनके लिए वहाँ कोई म्युज़ियम नहीं देखकर वो निराश हो गए थे। इसलिए, उन्होंने छत्रपति शिवाजी महाराज म्यूजियम की स्थापना के मिशन में अपना जीवन समर्पित कर दिया। 

मिस्टर गौतियर ने कहा कि क्यों छत्रपति शिवाजी महाराज अन्य यूरोपीय लीडर्स की तरह इंटरनेशनल लेवल पर प्रसिद्ध नहीं हैं। उन्होंने कहा कि भारतीयों के लिए इंटरनेशनल स्टेज पर उनका नाम ऊंंचा करने का समय आ गया है। गौतियर ने अपने बचपन को याद करते हुए कहा कि नेपोलियन का इतिहास उन सभी बुक मेें था, जिसे उन्होंने बचपन में पढ़़ा था। फ्रांस और अन्य पश्चिमी देशों में हर साल कितनी नई किताबें, फिल्में और कहानियां बनती हैं। नेपोलियन ने पूरे यूरोप को एकजुट करने की कोशिश की थी, लेकिन उनके विजन एक दो सेंचुरी के बाद ही पूरे होते दिख रहेें है। आज, हम देखते हैं कि पूरा यूरोप यूरो-जोन, अन्य करंसी और कई पहलों के माध्यम से एकजुट होने की कोशिश कर रहा है।

मिस्टर गौटियर ने छत्रपति शिवाजी महाराज को एक "योगी योद्धा" के रूप में डिस्क्राइब किया, जिसमें जबरदस्त समझदारी थी, जो भविष्य का अनुमान लगा सकते थे। छत्रपति शिवाजी महाराज ने भी लोकल लोगों को एकजुट किया और उन्होंने कल्चर को बचाएं रखने के साथ ही और आक्रमणकारियों के कारण होने वाले अत्याचारों को भी रोका। गौटियर ने यह भी बताया कि भारत में बहुत सारी स्टैच्यू हैं, लेकिन लोगों को छत्रपति शिवाजी महाराज और अन्य लीडर्स के बारे में समझने की और अधिक आवश्यकता है।

तब विजय पाटिल ने भारतीय विरासत को इंटरनेशनल लेवल फैलाने की आवश्यकता पर फिर से जोर दिया और इंडियन नेशनल हीरो  को ग्लोबल आइकॉन बनाने के एसएमएपी के उद्देश्य को फिर से बताया। इसके बाद उन्होंने दर्शकों और बाकी के ऑर्गेनाइजर्स को धन्यवाद देते हुए इस इवेंट का समापन किया।

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