IND vs AUS / मैच जिताने वाले शिवम दुबे को कप्तान सूर्यकुमार यादव ने सरेआम क्यों लताड़ा?

ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे टी20 में भारत ने 48 रनों से जीत दर्ज की। ऑलराउंडर शिवम दुबे ने 22 रन बनाए और 2 विकेट लिए, लेकिन कप्तान सूर्यकुमार यादव ने उन्हें फील्डिंग के हिसाब से गेंद न फेंकने पर सरेआम डांटा। यह घटना 12वें ओवर में हुई, जब दुबे ने टिम डेविड का विकेट लेने के बाद मार्कस स्टोयनिस को चौका दिया।

भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच चौथे टी20 मुकाबले में भारतीय टीम ने एकतरफा प्रदर्शन करते हुए 48 रनों की शानदार जीत दर्ज की और इस जीत में कई खिलाड़ियों का अहम योगदान रहा, जिनमें ऑलराउंडर शिवम दुबे भी शामिल थे। दुबे ने बल्ले से 22 रन बनाए और गेंदबाजी में दो। महत्वपूर्ण विकेट भी चटकाए, जिससे भारत की जीत की राह आसान हुई। हालांकि, इस शानदार प्रदर्शन के बावजूद, उन्हें मैदान पर कप्तान सूर्यकुमार यादव से सार्वजनिक रूप से डांट खानी पड़ी, जिसने सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा।

सूर्यकुमार यादव की नाराजगी का कारण

यह घटना मैच के 12वें ओवर में घटी, जब शिवम दुबे गेंदबाजी कर रहे थे। इसी ओवर में दुबे ने ऑस्ट्रेलिया के खतरनाक बल्लेबाज टिम डेविड का महत्वपूर्ण विकेट हासिल किया, जिससे भारतीय खेमे में खुशी की लहर दौड़ गई। लेकिन, ओवर की आखिरी गेंद पर मार्कस स्टोयनिस ने एक चौका जड़ दिया। इस चौके के बाद कप्तान सूर्यकुमार यादव बेहद नाराज दिखे और उन्होंने तुरंत शिवम दुबे को लताड़ना शुरू कर दिया और यह डांट सिर्फ चौका लगने की वजह से नहीं थी, बल्कि सूर्यकुमार यादव इस बात से नाखुश थे कि दुबे ने टीम की फील्डिंग के हिसाब से गेंदबाजी नहीं की। कप्तान का मानना था कि फील्ड प्लेसमेंट के अनुसार गेंद न फेंकने से विपक्षी। बल्लेबाज को रन बनाने का मौका मिला, जो टीम की रणनीति के खिलाफ था। यह घटना मैदान पर अनुशासन और रणनीति के प्रति कप्तान की प्रतिबद्धता को दर्शाती है।

दुबे का मैच पलटने वाला प्रदर्शन

डांट पड़ने के बावजूद, यह undeniable सत्य है कि शिवम दुबे ने अपनी गेंदबाजी से मैच का रुख पलटने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के कप्तान मिचेल मार्श का विकेट लिया, जो उस समय क्रीज पर टिककर खतरनाक दिख रहे थे। मार्श का विकेट भारत के लिए एक बड़ी सफलता थी, क्योंकि वह तेजी से रन बनाने की क्षमता रखते हैं। इसके अलावा, उन्होंने टिम डेविड का भी विकेट चटकाया, जो अपनी विस्फोटक बल्लेबाजी के लिए जाने जाते हैं। इन दोनों बल्लेबाजों को आउट करके दुबे ने ऑस्ट्रेलिया की रन गति पर लगाम लगाई और उन्हें बड़े स्कोर तक पहुंचने से रोका। उनकी 22 रनों की पारी भी टीम के कुल स्कोर में एक महत्वपूर्ण योगदान थी, जिसने भारत को 167 रनों के सम्मानजनक स्कोर तक पहुंचने में मदद की।

भारत की शानदार बल्लेबाजी

मैच में पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम ने निर्धारित 20 ओवरों में 167 रन बनाए। सलामी बल्लेबाज शुभमन गिल ने सबसे ज्यादा 46 रनों की पारी खेली, जिससे टीम को एक मजबूत शुरुआत मिली। अभिषेक शर्मा ने भी 28 रनों का योगदान दिया, जबकि कप्तान सूर्यकुमार यादव ने स्वयं 20 रन बनाए। इन शुरुआती साझेदारियों ने भारत को एक ठोस मंच प्रदान किया। आखिर में, अक्षर पटेल ने सिर्फ 11 गेंदों में नाबाद 21 रन बनाकर टीम के स्कोर को 167 तक पहुंचाया। उनकी यह तेजतर्रार पारी अंत में टीम की जीत में निर्णायक साबित हुई, क्योंकि ऑस्ट्रेलिया इस लक्ष्य तक पहुंचने में विफल रही।

ऑस्ट्रेलिया का संघर्ष और भारतीय गेंदबाजी का दबदबा

168 रनों के लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलिया की टीम भारतीय गेंदबाजों के सामने पूरी तरह से बिखर गई। वे 18. 2 ओवर में सिर्फ 119 रनों पर ढेर हो गए, जिससे भारत को 48 रनों की एक बड़ी जीत मिली और ऑस्ट्रेलिया की ओर से सिर्फ मिचेल मार्श ही 30 रन तक पहुंच पाए, उनके अलावा कोई भी बल्लेबाज भारतीय गेंदबाजों का सामना नहीं कर सका। भारतीय गेंदबाजों ने एकजुट होकर प्रदर्शन किया और ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को खुलकर खेलने का मौका नहीं दिया।

प्लेयर ऑफ द मैच अक्षर पटेल

भारतीय गेंदबाजी में अक्षर पटेल ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 20 रन देकर 2 विकेट लिए। उनकी किफायती गेंदबाजी और महत्वपूर्ण विकेटों ने ऑस्ट्रेलिया पर दबाव बनाए रखा। वॉशिंगटन सुंदर ने तो और भी प्रभावशाली प्रदर्शन किया, उन्होंने मात्र 3। रन देकर 3 विकेट झटके, जिससे ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजी की कमर टूट गई। वरुण, जसप्रीत बुमराह और अर्शदीप सिंह को भी 1-1 विकेट मिला, जिससे यह एक सामूहिक गेंदबाजी प्रयास साबित हुआ। अपने ऑलराउंड प्रदर्शन, विशेषकर बल्ले और गेंद दोनों से महत्वपूर्ण योगदान के लिए, अक्षर पटेल को 'प्लेयर ऑफ द मैच' चुना गया। उनकी नाबाद 21 रनों की पारी और 2 विकेटों ने भारत की जीत में अहम भूमिका निभाई। यह जीत भारतीय टीम के आत्मविश्वास को बढ़ाने वाली थी और उन्होंने श्रृंखला में अपनी पकड़ मजबूत की।