इंडिया / World Soil Day 2019: दुनिया भर में आज मनाया जा रहा है ''विश्व मृदा दिवस''

NDTV : Dec 05, 2019, 01:34 PM
नई दिल्ली:  हर साल 5 दिसंबर को दुनिया भर में विश्व मृदा दिवस (World Soil Day) मनाया जाता है। विश्व मृदा दिवस, जनसंख्या विस्तार की वजह से बढ़ रही समस्याओं को उजागर करता है। इस वजह से मिट्टी के कटाव को कम करना जरूरी है और इस दिशा में काम करना आवश्यक है ताकि खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। मिट्टी का निर्माण विभिन्न अनुपातों में खनिज, कार्बनिक पदार्थ और वायु से होता है। यह जीवन के लिए महत्वपूर्ण होती है क्योंकि इससे पौधे का विकास होता है और यह कई कीड़ों और जीवों के लिए रहने की जगह है।

यह भोजन, कपड़े, आश्रय और चिकित्सा सहित चार आवश्यक 'जीवित' कारकों का स्रोत है। इसलिए, मिट्टी का संरक्षण आवश्यक है। इस वजह से मिट्टी के नुकसान के बारे में जागरुकता बढ़ाने के लिए, 5 दिसंबर को विश्व मृदा दिवस मनाया जाता है।

विश्व मृदा दिवस का इतिहास

2002 में अंतरराष्ट्रीय मृदा विज्ञान संघ ने 5 दिसंबर को हर साल विश्व मृदा दिवस मनाने की सिफारिश की थी। साथ ही खाद्य और कृषि संगठन (Food And Agriculture Organisation) ने भी विश्व मृदा दिवस की औपचारिक स्थापना को वैश्विक जागरुकता बढ़ाने वाले मंच के रूप में थाईलैंड के नेतृत्व में समर्थन दिया। एफएओ के सम्मेलन ने सर्वसम्मति से जून 2013 में विश्व मृदा दिवस का समर्थन किया और 68 वें संयुक्त राष्ट्र महासभा में इसको आधिकारिक रूप से मनाए जाने का अनुरोध किया। इसके बाद दिसंबर 2013 में, 68 वें सत्र में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 5 दिसंबर को विश्व मृदा दिवस के रूप में मनाए जाने की घोषणा की। पहला विश्व मृदा दिवस 5 दिसंबर, 2014 को मनाया गया था।

विश्व मृदा दिवस 2019 की थीम

खाद्य और कृषि संगठन के मुताबिक, विश्व मृदा दिवस 2019 की थीम "मृदा कटाव रोकें, हमारा भविष्य संवारें" है। यह थीम, मृदा प्रबंधन में बढ़ती चुनौतियों पर केंद्रित है और मृदा को बेहतर बनाने और इसके संरक्षण में सुधार की दिशा में काम करने के लिए दुनिया भर के संगठनों, सरकारों, समुदायों और व्यक्तियों को प्रोत्साहित करके मिट्टी की गुणवत्ता को बढ़ाने की रूपरेखा को तैयार करना है।

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