MP Hanuman Beniwal / बेनीवाल ने विधायक-आवास खाली कराने को दी चुनौती, हाईकोर्ट में याचिका दायर की

सांसद हनुमान बेनीवाल ने जयपुर स्थित विधायक आवास खाली कराने की कार्यवाही को राजस्थान हाईकोर्ट में चुनौती दी है। याचिका में कहा गया कि संपदा अधिकारी ने प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों का पालन नहीं किया। मामले की सुनवाई अगले सप्ताह हो सकती है। बेनीवाल ने नोटिस और कार्रवाई रद्द करने की मांग की।

MP Hanuman Beniwal: राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (RLP) के सांसद हनुमान बेनीवाल ने जयपुर में विधायक आवास को खाली कराने के लिए जारी नोटिस के खिलाफ राजस्थान हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। इस याचिका में उन्होंने संपदा विभाग की कार्रवाई को प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों का उल्लंघन बताते हुए इसे रद्द करने की मांग की है। हाईकोर्ट में इस मामले की सुनवाई संभवतः अगले सप्ताह हो सकती है।

याचिका में क्या हैं मुख्य तर्क?

हनुमान बेनीवाल ने अपनी याचिका में कहा है कि संपदा विभाग ने 1 जुलाई, 2025 को उन्हें विधायक आवास खाली करने का नोटिस जारी किया था। इस नोटिस के आधार पर की जा रही कार्रवाई में प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों की अनदेखी की जा रही है। याचिका में यह भी उल्लेख किया गया है कि संपदा अधिकारी ने उन्हें अपनी बात रखने और तथ्यों को प्रस्तुत करने का उचित अवसर नहीं दिया।

बेनीवाल के अनुसार, पहली सुनवाई 11 जुलाई, 2025 को हुई थी, लेकिन इसके बाद संपदा अधिकारी अनावश्यक जल्दबाजी दिखा रहे हैं। उनकी ओर से दायर आवेदनों को न केवल खारिज किया गया, बल्कि अपमानजनक टिप्पणियों के साथ अस्वीकार किया गया। याचिका में यह भी दावा किया गया है कि संपदा अधिकारी का यह रवैया उनके पक्ष में पूर्वाग्रह को दर्शाता है, जो निष्पक्षता के खिलाफ है।

मांग: नोटिस और कार्रवाई को रद्द किया जाए

हनुमान बेनीवाल ने हाईकोर्ट से मांग की है कि संपदा विभाग द्वारा जारी नोटिस और उसके आधार पर की जा रही कार्रवाई को रद्द किया जाए। उन्होंने तर्क दिया कि प्रक्रिया में पारदर्शिता और निष्पक्षता का अभाव है, जिसके कारण उनके अधिकारों का हनन हो रहा है।

मामले का पृष्ठभूमि और महत्व

हनुमान बेनीवाल, जो नागौर से सांसद हैं और RLP के प्रमुख नेता हैं, राजस्थान की राजनीति में एक मुखर व्यक्तित्व के रूप में जाने जाते हैं। विधायक आवास को लेकर यह विवाद तब शुरू हुआ, जब संपदा विभाग ने उन्हें आवास खाली करने का नोटिस जारी किया। यह मामला न केवल प्रशासनिक प्रक्रिया से जुड़ा है, बल्कि राजनीतिक हलकों में भी चर्चा का विषय बन गया है।

हाईकोर्ट में इस याचिका की सुनवाई के नतीजे न केवल हनुमान बेनीवाल के लिए, बल्कि अन्य विधायकों और सांसदों के लिए भी एक मिसाल कायम कर सकते हैं, जिन्हें सरकारी आवास से संबंधित नोटिस का सामना करना पड़ता है।

अगले सप्ताह सुनवाई की संभावना

हाईकोर्ट में दायर इस याचिका पर अगले सप्ताह सुनवाई होने की संभावना है। इस दौरान हनुमान बेनीवाल के वकील उनके पक्ष में तथ्य और कानूनी दस्तावेज प्रस्तुत करेंगे। दूसरी ओर, संपदा विभाग को भी अपनी कार्रवाई का बचाव करने का अवसर मिलेगा। इस मामले पर सभी की नजरें टिकी हैं, क्योंकि यह प्रशासनिक निष्पक्षता और प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों से जुड़ा एक महत्वपूर्ण मुद्दा है।