India-Pakistan War / पाक को भारत की चेतावनी- 'सीजफायर की Expiry Date नहीं, अब गोली चली तो मुश्किल होगी'

पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में भारत ने पाकिस्तान में ऑपरेशन सिंदूर अंजाम दिया। इसके बावजूद 10 मई को बनी सीजफायर सहमति अब भी लागू है। भारतीय सेना ने स्पष्ट किया कि सीजफायर की कोई समाप्ति तिथि नहीं है—उल्लंघन की स्थिति में गंभीर परिणाम होंगे।

India-Pakistan War: पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में भारत ने आतंकवाद के अड्डों पर करारा प्रहार करते हुए ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिया। यह कार्रवाई पाकिस्तान अधिकृत क्षेत्रों में आतंकी ठिकानों को निशाना बनाकर की गई, जहां से भारत में आतंक फैलाने की साजिशें रची जा रही थीं। भारत की इस जवाबी कार्रवाई ने न केवल आतंकी नेटवर्क को झटका दिया, बल्कि एक बार फिर यह स्पष्ट किया कि भारत अपनी सुरक्षा को लेकर किसी भी स्तर तक जा सकता है।

तनाव के बाद राजनयिक पहल

ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ गया था। चार दिन तक चले सैन्य संघर्ष में दोनों देशों ने एक-दूसरे के सैन्य ठिकानों को ड्रोन, मिसाइल और लंबी दूरी के हथियारों से निशाना बनाया। इससे क्षेत्र में युद्ध जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई थी। हालात की गंभीरता को देखते हुए 10 मई को दोनों देशों के सैन्य अभियान महानिदेशकों (DGMO) के बीच हॉटलाइन पर बातचीत हुई, जिसके बाद 12 मई को औपचारिक रूप से सीजफायर की घोषणा की गई।

“सीजफायर की कोई एक्सपायरी डेट नहीं”

रविवार को भारतीय सेना ने मीडिया में चल रही उन खबरों को खारिज किया जिनमें यह कहा गया था कि सीजफायर की अवधि 18 मई को समाप्त हो रही है। सेना ने अपने बयान में स्पष्ट किया कि सीजफायर की कोई समाप्ति तिथि नहीं है। यह सहमति तब तक लागू रहेगी जब तक दोनों पक्ष इसका सम्मान करते हैं। सेना ने पाकिस्तान को साफ शब्दों में चेतावनी दी कि अगर सीजफायर का उल्लंघन किया गया तो गंभीर परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं।

साप्ताहिक हॉटलाइन वार्ता की प्रक्रिया

भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव प्रबंधन की दिशा में एक स्थापित प्रक्रिया के तहत हर मंगलवार को दोनों देशों के डीजीएमओ के बीच हॉटलाइन वार्ता होती है। इसी प्रक्रिया के तहत 20 मई को अगली बातचीत प्रस्तावित है। माना जा रहा है कि इस वार्ता में अब तक के सीजफायर पालन की समीक्षा की जाएगी और भविष्य की दिशा तय होगी।

आतंक के खिलाफ भारत की ज़ीरो टॉलरेंस नीति

ऑपरेशन सिंदूर ने यह संदेश स्पष्ट रूप से दे दिया है कि भारत आतंकवाद के प्रति ज़ीरो टॉलरेंस नीति पर कायम है। भारत की नीति अब स्पष्ट है — बातचीत तभी होगी जब सीमा पर शांति होगी, और शांति तभी रहेगी जब आतंक के अड्डे खत्म होंगे। यह संतुलन भारत अपने सैन्य कौशल और कूटनीतिक प्रयासों से साध रहा है।