Vikrant Shekhawat : Mar 09, 2025, 07:40 PM
Budget Session 2025: सोमवार से संसद का बजट सत्र एक बार फिर से शुरू हो रहा है, जिसमें सत्तारूढ़ दल और विपक्ष के बीच तीखी बहस और घमासान होने की पूरी संभावना है। विपक्ष कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर सरकार को घेरने की योजना बना रहा है, जिसमें मणिपुर में हिंसा, ट्रंप प्रशासन के साथ भारत के संबंध, और मतदाता सूची में कथित हेराफेरी जैसे विषय शामिल हैं।
सरकार की प्राथमिकताएंइस सत्र में सरकार की प्रमुख प्राथमिकता अनुदान मांगों के लिए संसद की मंजूरी प्राप्त करना और बजटीय प्रक्रिया को पूरा करना है। साथ ही, मणिपुर के लिए बजट को मंजूरी दिलाने पर भी सरकार का फोकस रहेगा। इसके अलावा, सरकार वक्फ संशोधन विधेयक को पारित कराने के लिए भी तत्पर है। संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने हाल ही में कहा कि इस विधेयक को जल्द से जल्द पारित कराना सरकार की प्राथमिकता है, क्योंकि इससे मुस्लिम समुदाय से जुड़े कई मुद्दों का समाधान होगा।मणिपुर में राष्ट्रपति शासन और बजटमणिपुर में हालिया हिंसा के मद्देनजर केंद्र सरकार ने वहां राष्ट्रपति शासन लगाने की घोषणा की है। गृह मंत्री अमित शाह इस संदर्भ में संसद में एक वैधानिक प्रस्ताव पेश कर सकते हैं। साथ ही, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सोमवार को मणिपुर के लिए बजट पेश कर सकती हैं। मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के इस्तीफे के बाद से 13 फरवरी से राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू है।विपक्ष की रणनीति और विरोधविपक्ष ने बजट सत्र के दौरान सरकार को घेरने की रणनीति बनाई है। तृणमूल कांग्रेस मतदाता सूची में कथित हेराफेरी और ईपीआईसी (इलेक्टोरल फोटो आइडेंटिटी कार्ड) में फर्जीवाड़े के मुद्दे को प्रमुखता से उठाने वाली है। हाल ही में ममता बनर्जी ने चुनावी प्रक्रियाओं में गड़बड़ी का आरोप लगाया था। हालांकि, चुनाव आयोग ने इन आरोपों को खारिज कर दिया और कहा कि कुछ मतदाताओं के ईपीआईसी नंबर समान हो सकते हैं, लेकिन अन्य विवरण अलग-अलग होते हैं।इस मुद्दे पर जोर देने के लिए तृणमूल कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल ने चुनाव आयोग से मुलाकात की योजना बनाई है। इसके साथ ही, डीएमके, शिवसेना (यूबीटी), और कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों ने भी इसे संसद में उठाने का फैसला किया है।विपक्ष की अन्य चिंताएंइसके अतिरिक्त, विपक्ष अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा पारस्परिक शुल्क लगाने की धमकी, संसदीय निर्वाचन क्षेत्रों के परिसीमन, और मणिपुर में ताजा हिंसा के मुद्दों पर भी सरकार को घेरने की योजना बना रहा है। कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि इंडिया ब्लॉक के विपक्षी दल वक्फ विधेयक के खिलाफ एकजुट होकर विरोध करेंगे। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि वर्तमान चुनावी प्रक्रिया स्वतंत्र और निष्पक्ष नहीं रही और इसे योजनाबद्ध तरीके से प्रभावित किया जा रहा है।संसद में संभावित हंगामाइन तमाम मुद्दों के मद्देनजर, संसद में सरकार और विपक्ष के बीच तीखी बहस देखने को मिल सकती है। जहां सरकार अपने विधायी एजेंडे को आगे बढ़ाने पर केंद्रित है, वहीं विपक्ष चुनावी अनियमितताओं और मणिपुर हिंसा जैसे संवेदनशील मुद्दों को उठाने में कोई कसर नहीं छोड़ेगा। ऐसे में बजट सत्र के दौरान संसद में राजनीतिक उथल-पुथल की पूरी संभावना बनी हुई है।