कोरोना अलर्ट / कोरोना से जंग के लिए तीनों भारतीय सेनाएं तैयार, कुछ ऐसी है तैयारी

इस बीच सरकार अब आगे की तैयारी में जुटी गई है, अगर स्थिति और बिगड़ती है तो फिर सेना की मदद ली जा सकती है। इसलिए तीनों सेनाओं को आगाह कर दिया गया है और उन्हें अपने स्तर पर तैयार रहने को कहा गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने तीनों सेनाओं के प्रमुख से बातचीत भी की है। दरअसल राजनाथ सिंह ने कोविड-19 से निपटने के लिए किए जा रहे उपायों की समीक्षा की। उन्होंने सेना की ओर से अभी तक उठाए कदम की सराहना की।

AajTak : Apr 03, 2020, 09:28 AM
भारत में पिछले दो-तीन दिनों से कोरोना वायरस के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। मौत का आंकड़ा भी बढ़ता जा रहा है। हालात पर काबू पाने की पूरी कोशिश की जा रही है और लोगों को लॉकडाउन का पालन करने की सलाह दी जा रही है। क्योंकि इस वायरस को फैलने से रोकने के लिए यही एकमात्र उपाय है।

इस बीच सरकार अब आगे की तैयारी में जुटी गई है, अगर स्थिति और बिगड़ती है तो फिर सेना की मदद ली जा सकती है। इसलिए तीनों सेनाओं को आगाह कर दिया गया है और उन्हें अपने स्तर पर तैयार रहने को कहा गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने तीनों सेनाओं के प्रमुख से बातचीत भी की है।

दरअसल राजनाथ सिंह ने कोविड-19 से निपटने के लिए किए जा रहे उपायों की समीक्षा की। उन्होंने सेना की ओर से अभी तक उठाए कदम की सराहना की। अभी सेना की ओर से सैनिटाइजर, फेस मास्क, थर्मल गन जैसे कोरोना वायरस से लड़ने के लिए उपकरण बनाए जा रहे हैं। इसके अलावा सेना की खाली जगह को क्वारनटीन के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है

रक्षा प्रमुख अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत ने राजनाथ सिंह को बताया कि कोविड-19 से लड़ने के लिए बड़े पैमाने पर अलग से अस्पताल चिन्हित किए गए हैं और अस्पतालों में  9,000 से ज्यादा बेड उपलब्ध करवाए गए हैं। जैसलमेर, जोधपुर, चेन्नई, मानेसर, हिंडन और मुंबई में 1,000 से ज्यादा लोगों को क्वारनटीन किया गया है, उनकी क्वारनटीन की अवधि 7 अप्रैल 2020 तक है।

वहीं डीआरडीओ वेंटिलेटर में कुछ सुधार करने के कार्य में भी लगा हुआ है ताकि एक मशीन एक साथ चार मरीजों को संभाल सके। राष्ट्रीय कैडेट कोर (NCC) के लगभग 25,000 कैडेट्स को आवश्यक स्थानीय सहायता प्रदान करने के लिए तैयार किया जा रहा है।

नौसेना अध्यक्ष एडमिरल कर्मबीर सिंह ने रक्षा मंत्री के मुताबिक किसी भी प्रकार की आवश्यक सहायता करने के लिए नौसेना के जहाज तैयार स्थिति में रखे गए हैं। उन्होंने कहा कि नौसेना स्थानीय सिविल प्रशासन को आवश्यक सहायता प्रदान कर रही है।

वायुसेना के अध्यक्ष एयर चीफ मार्शल आर के एस भदौरिया ने बताया कि पिछले पांच दिनों में देश के अंदर लगभग 25 टन मेडिकल आपूर्ति करने के लिए वायुसेना के जहाजों ने कई उड़ानें भरी हैं।

थलसेना अध्यक्ष जनरल एम एम नरवणे ने रक्षा मंत्री को बताया कि आवश्यकता पड़ने पर सिविल प्रशासन को 8,500 से ज्यादा डॉक्टर और सहायक स्टाफ प्रदान कराए जा सकते हैं।

राजनाथ सिंह के पड़ोसी देशों को सहायता प्रदान करने के निर्देश की ओर संकेत करते हुए उन्होंने कहा कि आवश्यकता पड़ने पर नेपाल को मेडिकल उपकरणों की सहायता जल्द प्रदान की जा सकती है।

रक्षा आर एंड डी विभाग के सचिव और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ सतीश रेड्डी ने रक्षा मंत्री को बताया कि दिल्ली पुलिस सहित सुरक्षा संस्थानों को डीआरडीओ की प्रयोगशालाओं में निर्मित 50,000 लीटर से ज्यादा सैनिटाइजर की आपूर्ति की गई और इसके अलावा एक लाख लीटर से ज्यादा सैनिटाइजर की आपूर्ति पूरे देश में गई।

इसके अलावा वार फुटिंग में पांच लेयर वाला नैनो तकनीक से बना फेस मास्क एन99 बनाया जा रहा है। एक हजार बना लिए गए हैं और शीघ्र ही प्रतिदिन के हिसाब से 20,000 फेस मास्क बनाए जाएंगे। डीआरडीओ की प्रयोगशालाओं ने दिल्ली पुलिस को इनके अतिरिक्त 40,000 फेस मास्क की आपूर्ति की है।