- भारत,
- 07-Aug-2025 03:20 PM IST
Rahul Gandhi: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने आज दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की, जिसमें उन्होंने लोकसभा और विधानसभा चुनावों में मतदाता सूची में बड़े पैमाने पर धांधली के आरोप लगाए। उन्होंने कर्नाटक, महाराष्ट्र और हरियाणा के चुनावों में अनियमितताओं का जिक्र करते हुए सबूत पेश किए और निर्वाचन आयोग पर सवाल उठाए।
कर्नाटक में वोट चोरी का दावा
राहुल गांधी ने कर्नाटक के बेंगलुरु मध्य लोकसभा सीट के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में 1 लाख 25 हजार वोटों की चोरी का आरोप लगाया। उन्होंने दावा किया कि उनकी टीम ने मतदाता सूची का गहन विश्लेषण किया, जिसमें कई गड़बड़ियां सामने आईं। उनके अनुसार:
11,965 डुप्लिकेट वोटर पाए गए।
40 हजार से ज्यादा फर्जी पते दर्ज थे।
10 हजार से ज्यादा वोटर एक ही पते पर रजिस्टर्ड थे।
4 हजार से ज्यादा इनवैलिड फोटो सामने आए।
33 हजार से ज्यादा लोगों ने फॉर्म 6 का दुरुपयोग किया।
राहुल ने बताया कि एक ही पते पर 50-50 मतदाता दर्ज थे, कई जगहों पर नाम एक थे लेकिन फोटो अलग-अलग थे। उदाहरण के तौर पर, उन्होंने एक मतदाता सूची दिखाई जिसमें पते के रूप में "हाउस एड्रेस 0" लिखा था और पिता का नाम "hhgassjk" जैसा अवैध नाम दर्ज था। एक मामले में, हाउस नंबर 35 से 80 वोटर और हाउस नंबर 791 से 46 वोटरों ने वोट डाला।
उन्होंने कहा, "हमारे संविधान में यह सिद्धांत है कि एक व्यक्ति को एक वोट का अधिकार है। लेकिन अब यह सवाल उठता है कि यह सिद्धांत कितना सुरक्षित है?"
महाराष्ट्र में "रहस्यमयी" वोटरों का मुद्दा
राहुल गांधी ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में 40 लाख "रहस्यमयी" वोटरों के जुड़ने का दावा किया। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में 5 महीने में इतने वोटर बढ़ गए, जितने सामान्य तौर पर 5 साल में नहीं बढ़ते। उन्होंने आरोप लगाया कि लोकसभा और विधानसभा चुनाव के दौरान महाराष्ट्र में 1 करोड़ मतदाता अचानक बढ़ गए।
उन्होंने कहा, "निर्वाचन आयोग हमें मशीन रीडेबल डेटा नहीं दे रहा ताकि हम इन गड़बड़ियों को पकड़ न सकें। 5:30 बजे के बाद भारी मात्रा में वोटिंग दिखाई गई, जो वास्तव में नहीं हुई।"
हरियाणा और महाराष्ट्र के नतीजों पर सवाल
राहुल ने हरियाणा और महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव नतीजों पर सवाल उठाते हुए कहा कि एग्जिट पोल और वास्तविक नतीजों में भारी अंतर था। उन्होंने कहा, "जब ईवीएम नहीं थीं, तब पूरा देश एक दिन में वोट करता था। लेकिन अब वोटिंग महीनों तक चलती है, जिससे संदेह बढ़ता है।"
सबूत जुटाने की प्रक्रिया
राहुल गांधी ने बताया कि उनकी टीम ने 6 महीने तक 30-40 लोगों की मेहनत से मतदाता सूची का विश्लेषण किया। उन्होंने कहा, "हमने हर शीट में एक-एक व्यक्ति के नाम और फोटो चेक किए ताकि डुप्लिकेट वोटरों का पता लगाया जा सके। यह एक जटिल और समय लेने वाली प्रक्रिया थी।" उन्होंने दावा किया कि निर्वाचन आयोग ने इलेक्ट्रॉनिक डेटा देने से इनकार कर दिया, क्योंकि वे नहीं चाहते कि ऐसी गड़बड़ियां उजागर हों।
"एटम बम" वाला दावा
राहुल गांधी ने 1 अगस्त को दावा किया था कि उनके पास निर्वाचन आयोग की मिलीभगत से वोट चोरी के पुख्ता सबूत हैं, जिन्हें उन्होंने "एटम बम" की संज्ञा दी थी। निर्वाचन आयोग ने इन आरोपों को आधारहीन और निंदनीय बताया था और कहा था कि राहुल गांधी ने आयोग और उसके कर्मचारियों को धमकाना शुरू कर दिया है।
आंतरिक सर्वे और नतीजों में अंतर
राहुल ने बताया कि उनके आंतरिक सर्वे में कर्नाटक में कांग्रेस को 16 सीटें जीतने का अनुमान था, लेकिन पार्टी केवल 9 सीटें जीत सकी। उन्होंने कहा कि बीजेपी बेंगलुरु मध्य के सात विधानसभा क्षेत्रों में से छह में पिछड़ गई थी, लेकिन महादेवपुरा में उसे एकतरफा वोट मिले, जो संदेहास्पद है।