Dainik Bhaskar : Jun 26, 2019, 04:48 PM
जयपुर. मेडिकल कॉलेजों में असिस्टेंट प्रोफेसर पद के लिए अब पी.एचडी अनिवार्य नहीं है। मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया के ‘एमसीआई मिनिमम क्वालिफिकेशन फॉर टीचर्स इन मेडिकल एज्यूकेशन रेग्यूलेशन 1998’ के तहत स्वास्थ्य मंत्रालय ने राजस्थान समेत देश के सभी राज्यों के सचिव को लिखे पत्र में साफ तौर से स्पष्ट किया है कि मेडिकल एम.एससी डिग्री धारक शिक्षक सहायक आचार्य के पद पर कार्य करने के लिए योग्य है। हालांकि प्रोफेसर (आचार्य) व एसोसिएट प्रोफेसर (सह आचार्य) पद के लिए पीएचडी डिग्री अनिवार्य है। नॉन क्लीनिकल जैसे माइक्रोबायलोजी, एनाटोमी, फिजियोलोजी और फार्माकोलॉजी में 30 फीसदी मेडिकल एम.एससी शिक्षक व बायोकेमिस्ट्री में 50 फीसदी तक कार्य कर सकते है। राष्ट्रीय एम.एससी मेडिकल टीचर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ.श्रीधर राव का कहना है कि केन्द्र सरकार की अोर से नोटिफिकेशन जारी करने के बाद मेडिकल एम.एससी धारक शिक्षकों को किसी तरह की दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ेगा। एसोसिएशन के सचिव अर्जुन ने स्वास्थ्य मंत्रालय से काउंसिल गठित करने की मांग की है। वर्तमान में देश में नॉन क्लीनिकल विभागों में एम.एससी व पीएचडी डिग्री धारक शिक्षकों की संख्या 13 फीसदी है।